दक्षिण राज्य कर्नाटक में कुल 28 लोकसभा क्षेत्र हैं. इन 28 लोकसभा सीट में से एक सीट बेंगलुरु दक्षिण (Bengaluru South Seat) भी है. ये सीट बीजेपी का गढ़ मानी जाती है. परिसीमन के बाद 1977 में ये सीट अस्तित्व में आई. तब से लेकर अब तक कांग्रेस सिर्फ एक बार ही यहां जीत हासिल कर पाई है. 1977 से लेकर 1984 तक इस सीट पर जनता पार्टी का कब्ज़ा रहा. इसके बाद 1989 के चुनाव में यहां से कांग्रेस के आर. गुंडू राव ने जीत हासिल की. इसके बाद बीजेपी के वरिष्ठ नेता स्वर्गीय अनंत कुमार की जीत का सिलसिला ऐसा शुरू हुआ कि वह जीवन पर्यंत चलता ही रहा है. ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि लोकसभा चुनाव 2024 (Lok Sabha Elections 2024) में बीजेपी बेंगलुरु दक्षिण सीट पर अपना रिकॉर्ड बरकरार रख पाएगी या इस बार कांग्रेस के हाथ को बेंगलुरु दक्षिण के वोटर्स का साथ मिलेगा.
बेंगलुरु दक्षिण सीट से मौजूदा समय में बीजेपी के तेजस्वी सूर्या (Tejasvi Surya) सांसद हैं. सूर्या बीजेपी युवा मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष भी हैं. 2019 के लोकसभा चुनावों में उन्हें 739229 वोट मिले थे. जबकि कांग्रेस उम्मीदवार बीके हरिप्रसाद को केवल 408037 ही मत मिल सके थे. तीसरे नंबर पर बहुजन समाज पार्टी के ए. राजू रहे थे, जो अपनी जमानत तक नहीं बचा सके थे. उन्हें महज़ 3864 वोट मिले थे.
1 नवंबर 1956 को राज्य पुनर्गठन अधिनियम के नतीजे के रूप में कुछ निर्वाचन क्षेत्रों को कर्नाटक राज्य में जोड़ा गया. बेंगलुरु उत्तर और बेंगलुरु दक्षिण निर्वाचन क्षेत्रों को मिलाकर बेंगलुरु निर्वाचन क्षेत्र बनाया गया. लेकिन इमरजेंसी के बाद और देशभर में निर्वाचन क्षेत्रों के पुनर्गठन के बाद यह लोकसभा सीट 1977 में बेंगलोर दक्षिण के रूप में अस्तित्व में आई. तब से इस निर्वाचन क्षेत्र में 12 बार चुनाव हो चुके हैं. बीजेपी 8 बार, जनता पार्टी 3 बार और कांग्रेस सिर्फ एक बार जीती है. बीजेपी नेता अनंत कुमार ने इस निर्वाचन क्षेत्र से लगातार 6 बार जीत हासिल की.
लेकिन, 16वीं लोकसभा के दौरान 2018 में अनंत कुमार कैंसर से पीड़ित हो गए. 2019 के चुनाव में उनकी मौत के बाद बीजेपी को एक नया चेहरा मैदान में उतारना पड़ा. तेजस्वी सूर्या ने 3.3 लाख से अधिक वोटों से जीत हासिल की. ऐसा करके सूर्या 29 साल की उम्र में 17वीं लोकसभा में सबसे कम उम्र के सांसदों की लिस्ट में शामिल हो गए.