केदारनाथ आपदा के 12 साल बाद फिर तैयार हुआ ये पुराना रास्ता, 21 के बजाय 16 KM चलना होगा

केदारनाथ धाम जाने वाले पुराने पैदल मार्ग में जल्द यात्री केदारनाथ धाम में जाकर भगवान श्री केदार के दर्शन कर सकेंगे.

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
केदारनाथ मार्ग

केदारनाथ धाम जाने वाला पुराना पैदल मार्ग जो 2013 की आपदा में क्षतिग्रस्त हो गया था, इस मार्ग पर आज भी बीते समय के पुराने निशान बाकी है. केदारनाथ यात्रा के मुख्य पड़ावों में गरुड़ चट्टी महत्वपूर्ण पड़ाव रहा है, यहां साधु संतों ने और यात्रियों ने बड़ी संख्या में आकर विश्राम किया है. केदारनाथ त्रासदी के बाद यह रास्ता सुना पड़ गया था लेकिन इसको फिर से पुनर्जीवित किया गया है. केदारनाथ में आई आपदा के 12 साल बाद रामबाड़ा से केदारनाथ धाम जाने वाला पुराना पैदल मार्ग बनकर तैयार है.

पीएम मोदी के ड्रीम प्रोजेक्ट के तहत रामबाड़ा से गरुड़ चट्टी तक पुराने पैदल मार्ग लगभग पूरा कर लिए है. रामबाड़ा से गरुड़ चट्टी तक करीब 6 किलोमीटर लंबा है, यह रास्ता आपदा से पहले गौरीकुंड से केदारनाथ तक 14 किलोमीटर की दूरी हुआ करती थी. लेकिन साल 2013 में आई आपदा के बाद दूसरी तरफ रास्ता बनाया गया जिसकी दूरी गौरीकुंड से केदारनाथ तक की 21 किलोमीटर हो गई है. अब ऐसे में पुराने रास्ते को तैयार कर लिया गया है. हालांकि यह आपदा से पहले क्षतिग्रस्त हुए रास्ते के ठीक ऊपर रास्ता बनाया गया है.

साल 2013 में आई त्रासदी के बाद रामबाड़ा से गरुड़ चट्टी के बीच पैदल मार्ग पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया था इसके बाद नया पैदल मार्ग बनाया गया . आज भी गरुड़ चट्टी से रामबाड़ा जाने वाले रास्ते में 2013 से पहले की आपदा के निशान आज भी मौजूद है इसके अलावा गरुड़ चट्टी से रामबाड़ा तक पूरा पैदल मार्ग बह चुका है और उसे रास्ते पर बहुत ज्यादा भूस्खलन वाला क्षेत्र बन गया है यही वजह है कि पुराने रास्ते को बनाया गया लेकिन उसे जगह नहीं बनाया गया है जहां 2013 में पैदल मार्ग हुआ करता था

Advertisement

केदारनाथ धाम जाने वाले पुराने पैदल मार्ग में यात्री आने-जाने भी लग गए है कई यात्रियों का कहना है कि पुराना पैदल मार्ग केदारनाथ धाम जाने के लिए बेहतर है महाराष्ट्र से आए यात्रियों का कहना है कि यह पैदल मार्ग काफी अच्छा और सुंदर है इस पैदल मार्ग पर उतनी थकावट नहीं लग रही है जितनी दूसरे पैदल मार्ग पर लगती है

Advertisement

इस नई मार्ग को उत्तराखंड लोक निर्माण विभाग ने बनाया है लोक निर्माण विभाग के सचिव पंकज पांडे के मुताबिक जल्द इस पर यात्रा शुरू कर दी जाएगी और इस मार्ग को चौड़ा करने का प्लान भी है सचिव पंकज पांडे का कहना है कि यह केदारनाथ वाइल्डलाइफ सेंक्चुअरी के अंतर्गत आता है इसलिए फॉरेस्ट डिपार्टमेंट से भी परमिशन ली जा रही है इस मार्ग को और चौड़ा करने के लिए. सचिव पंकज पांडे का कहना है कि इस यात्रा पैदल मार्ग को वन वे या फिर किस तरह इसको उपयोग में लाना है इसका फैसला जिला प्रशासन का है

Advertisement

अब इस रास्ते से मात्र 16 किलोमीटर की दूरी तय कर यात्री जा सकेंगे और यात्री इस रास्ते का बहुत ज्यादा उपयोग कर सकेंगे. क्योंकि यह रास्ता सुरक्षित है चाहे वह भारी बरसात हो या फिर अन्य प्राकृतिक आपदा के दौरान यात्री आ जा सकेंगे.

Advertisement

Featured Video Of The Day
Top Headlines: Patna Paras Hospital Firing | Himachal Landslides | Iran Pays Tribute To Sholay