पाकिस्तान में बैठकर आतंकी गतिविधियों को संचालित कर रहे आतंकवादियों के खिलाफ जारी कार्रवाई के तहत राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने जम्मू-कश्मीर के बारामूला जिले में ‘द रेसिस्टेंस फ्रंट' (टीआरएफ) के आतंकी बासित अहमद रेशी की एक संपत्ति शुक्रवार को कुर्क कर ली. यह कार्रवाई गुरुवार को अल-उमर मुजाहिदीन के संस्थापक और स्वयंभू मुख्य कमांडर मुश्ताक जरगर उर्फ लत्राम की श्रीनगर स्थित संपत्ति सील करने के बाद की गई है.
गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत ‘सूचीबद्ध आतंकवादी' रेशी अवैध तरीके से पाकिस्तान जाने के बाद से भारत-विरोधी गतिविधियां संचालित कर रहा है. एनआईए के एक प्रवक्ता ने कहा कि उसे कश्मीर घाटी में आतंकी गतिविधियों और कृत्यों के लिए धन मुहैया कराते हुए पाया गया है.
अधिकारी ने बताया कि रेशी 2015 में आतंकवादी बन गया था और सोपोर में एक पुलिस चौकी पर हमले की योजना बनाने एवं उसे अंजाम देने में शामिल था. इस हमले में एक कांस्टेबल की मौत हो गई थी और कुछ अन्य घायल हो गए थे. प्रवक्ता ने बताया कि रेशी पहले प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन हिजबुल-मुजाहिदीन से जुड़ा था. फिलहाल वह टीआरएफ की आतंकी गतिविधियों में शामिल है. हथियारों और गोला-बारूद की आपूर्ति के साथ-साथ सीमा पार से इस आतंकवादी समूह के लिए धन का प्रबंध भी करता है.
एनआईए ने कहा कि राजस्व और पुलिस अधिकारियों की सहायता से यूएपीए के प्रावधानों के तहत रेशी की 9.25 मरला (भूमि मापने की इकाई) कृषि भूमि कुर्क की गई है. एजेंसी ने अब तक पांच नामित आतंकवादियों की संपत्तियों को कुर्क किया है, जिनमें अमेरिका स्थित गुरपतवंत सिंह पन्नून, कनाडा स्थित हरदीप सिंह निज्जर और पाकिस्तान-स्थित मुश्ताक जरगर, बासित अहमद पीर और केसीएफ (पंजवार) के सदस्य परमजीत सिंह उर्फ 'पंजवार' शामिल हैं.
हाल ही में, एनआईए ने यूएपीए के तहत श्रीनगर में हुर्रियत के कार्यालय को भी कुर्क कर लिया था, जिसका आंशिक स्वामित्व नईम खान के पास था. जांच एजेंसी ने हुर्रियत आतंकी वित्त पोषण मामले में खान के खिलाफ आरोप-पत्र दायर कर रखा है.
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