18 साल में निवेशक सम्मेलन में आये, 6500 प्रस्ताव में से कितने धरातल पर उतरे: कमलनाथ

वैश्विक निवेशक सम्मेलन को लेकर कमलनाथ ने कहा,‘‘विज्ञापन तो विगत 18 वर्षों से दिए जा रहे हैं. विगत 18 वर्षों में कई निवेशक सम्मेलन हुए. इनमें 6,500 प्रस्ताव आए. हम (सत्तारूढ़ भाजपा से) पूछना चाहते हैं कि कितने प्रस्ताव धरातल पर उतरे?’’

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कमलनाथ ने बीजेपी पर साधा निशाना.
भोपाल:

मध्य प्रदेश में बुधवार से शुरू होने वाले वैश्विक निवेशक सम्मेलन में आए तमाम निवेशकों का स्वागत करते हुए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने मंगलवार को सवाल किया कि पिछले 18 वर्षों में प्रदेश में हुए ऐसे निवेशक सम्मेलन में आए 6,500 प्रस्तावों में से कितने प्रस्ताव धरातल पर उतरे. उन्होंने सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर तंज कसते हुए कहा, ‘‘प्रदेश में निवेश तब आता है, जब निवेशकों को हमारे प्रदेश में विश्वास हो.''

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘मध्य प्रदेश में आए तमाम निवेशकों का हम स्वागत करते हैं. मध्य प्रदेश में विश्वास की एक नयी परंपरा बने हम इस बात का स्वागत करते हैं. लेकिन प्रदेश में निवेश तब आता है, जब निवेशकों को हमारे प्रदेश में विश्वास हो. केवल भाषणबाजी करने से और विज्ञापन व मीडिया इवेंट्स से निवेश नहीं आता.''

उन्होंने कहा, ‘‘विज्ञापन तो विगत 18 वर्षों से दिए जा रहे हैं. विगत 18 वर्षों में कई निवेशक सम्मेलन हुए. इनमें 6,500 प्रस्ताव आए. हम (सत्तारूढ़ भाजपा से) पूछना चाहते हैं कि कितने प्रस्ताव धरातल पर उतरे?'' मालूम हो कि 8 दिसंबर 2003 से लेकर अब तक करीब 19 साल में प्रदेश में लगभग 18 साल भाजपा का शासन रहा और 15 महीने (17 दिसंबर 2018 से 23 मार्च 2020 तक) कमलनाथ के नेतृत्व में कांग्रेस सत्ता में रही.

हालांकि, प्रदेश भाजपा प्रवक्ता पंकज चतुर्वेदी ने कहा, ‘‘पिछले छह निवेशक सम्मेलन में राज्य में 1.75 लाख करोड़ रूपये का निवेश आया और इससे चार लाख रोजगार का सृजन हुआ.''उन्होंने कहा कि राज्य 19.76 प्रतिशत की वर्तमान विकास दर से आगे बढ़ने के लिए प्रतिबद्ध है. चतुर्वेदी ने कमलनाथ से पूछा कि जब वह मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री थे, तब उन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान कितना निवेश आकर्षित किया.

कमलनाथ ने राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘बड़े दुख की बात है कि मध्य प्रदेश के इंदौर में 8 जनवरी से 10 जनवरी तक हुए प्रवासी भारतीय सम्मेलन में आए तमाम अनिवासी भारतीय बंधुओं को असुविधा का सामना करना पड़ा. यह मध्य प्रदेश की परंपरा नहीं है.''

उन्होंने कहा कि जो अधिकारी-कर्मचारी भाजपा का बिल्ला लिए जेब में घूम रहे हैं अथवा जो पुलिसकर्मी अपनी वर्दी का या जो अधिकारी अपने पद का सम्मान नहीं कर रहे हैं, वक्त आने पर (प्रदेश में कांग्रेस के सत्ता में आने पर) उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने कहा कि ‘‘जो लोग ईमानदारी से कार्य कर रहे हैं, उन्हें डरने की जरूरत नहीं है.''

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कमलनाथ ने आरोप लगाया, ‘‘भाजपा द्वारा हाल में प्रदेश में हुए जिला एवं नगरीय निकाय चुनाव पुलिस, पैसे और प्रशासन के बलबूते पर लड़ा गया. कांग्रेस के कार्यकर्ताओं पर दबाव बनाया गया और उन पर झूठे मामले

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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