गुजरात में 2002 के सांप्रदायिक दंगे (Gujarat Riot) में गुलबर्ग सोसायटी जनसंहार के दौरान अपने परिवार के 10 सदस्यों को खोने वाले व्यक्ति इम्तियाज खान पठान स्थानीय चुनाव से पहले एआईएमआईएम में शामिल हो गए. उन्होंने कांग्रेस पर दंगा पीड़ित परिवारों की मदद करने में विफल रहने का आरोप लगाया.
पठान गुजरात में दंगा मामलों की जांच के लिए उच्चतम न्यायालय द्वारा गठित विशेष जांच दल (एसआईटी) के सामने गवाही देने वाले अहम गवाह रहे हैं. वह और कई अन्य लोग ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के प्रदेश अध्यक्ष साबिर काबुलीवाला की मौजूदगी में असदुद्दीन ओवैसी नीत इस पार्टी में शामिल हो गए. यह पार्टी पहली बार गुजरात में भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) के साथ मिलकर अहमदाबाद और भरूच शहरों में चुनाव लड़ रही है.
गोधरा में ट्रेन जलने की घटना के बाद अहमदाबाद में गुलबर्ग सोसायटी पर एक भीड़ ने 28 फरवरी, 2002 को हमला कर दिया था और इसमें कांग्रेस के पूर्व सासंद एहसान जाफरी समेत 69 लोगों की मौत हो गई थी.
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