स्टील सेक्टर के लिए PLI 2.0 पर काम जारी, कंपनियों को स्टील आयात पर अंकुश लगाने जैसे कदमों का इंतजार

सरकार ने करीब 2.5 करोड़ टन के अतिरिक्त उत्पादन में मदद के लिए विशेष इस्पात के उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए पीएलआई योजना 1.0 को मंजूरी दी थी.

विज्ञापन
Read Time: 13 mins
इस्पात के उत्पादन और मांग पर इस्पात राज्य मंत्री ने कहा कि बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के दम पर 2024 में इसमें उल्लेखनीय वृद्धि होगी.
नई दिल्ली:

केंद्रीय मंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते ने कहा कि सरकार, उत्पादन आधारित प्रोत्साहन यानी पीएलआई (PLI) योजना 2.0 पर काम कर रही है और साथ ही 2024 में इस्पात क्षेत्र के लिए पर्याप्त कच्चे माल की आपूर्ति सुनिश्चित करने के तरीकों पर भी विचार किया जा रहा है. मजबूत आर्थिक वृद्धि से स्टील की मांग बढ़ेगी, हालांकि उद्योग से जुड़ी कंपनियां भू-राजनीतिक अनिश्चितताओं के बीच बढ़ते आयात और कच्चे माल की ऊंची कीमतों को लेकर चिंतित हैं. इस क्षेत्र के 2020-21 में कोविड-19 वैश्विक महामारी से प्रभावित रहने के बाद अब इस्पात के उत्पादन और खपत में मजबूत सुधार हुआ है.

इस्पात की खपत सालाना आधार पर 14 प्रतिशत बढ़ी
इस्पात मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, इस साल अप्रैल-नवंबर में कच्चे इस्पात का संचयी उत्पादन 14.5 प्रतिशत बढ़कर 9.401 करोड़ टन रहा. इसी अवधि में तैयार इस्पात की खपत सालाना आधार पर 14 प्रतिशत बढ़कर 8.697 करोड़ टन हो गई.भारत ने 2030 तक 30 करोड़ टन की स्थापित इस्पात विनिर्माण क्षमता का लक्ष्य रखा है. वर्तमान में देश की क्षमता करीब 16.1 करोड़ टन है.

कार्बन उत्सर्जन को कम करने पर भी दिया जाएगा ध्यान
फग्गन सिंह कुलस्ते  ने 2024 में इस्पात उद्योग के लिए सरकार की प्राथमिकताओं के बारे में बात करते हुए कहा, ‘‘ हम इस्पात क्षेत्र के लिए पीएलआई 2.0 की तैयारी कर रहे हैं. इस पर विभिन्न स्तरों पर चर्चा जारी है.'इस्पात राज्य मंत्री ने ‘पीटीआई-भाषा' से कहा कि सरकार इस्पात उद्योग के लिए कच्चे माल की आपूर्ति सुनिश्चित करेगी और स्क्रैप के इस्तेमाल को बढ़ावा देने पर भी ध्यान केंद्रित किया जाएगा. उन्होंने कहा कि इसके अलावा इस्पात उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए उद्योग की कंपनियों के बीच कृत्रिम मेधा (एआई) और नए युग की प्रौद्योगिकियों के इस्तेमाल पर जोर देने के प्रयास किए जाएंगे. साथ ही कार्बन उत्सर्जन को कम करने पर भी ध्यान दिया जाएगा. कुलस्ते के पास ग्रामीण विकास राज्य मंत्री का प्रभार भी है.

बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के दम पर 2024 में वृद्धि की उम्मीद
सरकार ने करीब 2.5 करोड़ टन के अतिरिक्त उत्पादन में मदद के लिए विशेष इस्पात के उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए पीएलआई योजना 1.0 को मंजूरी दी थी. इस्पात के उत्पादन और मांग पर मंत्री ने कहा कि बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के दम पर 2024 में इसमें उल्लेखनीय वृद्धि होगी.

इस्पात कंपनियां बढ़ा रही हैं अपनी क्षमताएं
इस्पात राज्य मंत्री ने कहा कि सभी इस्पात कंपनियां अपनी क्षमताएं बढ़ा रही हैं और व्यापार सुगमता सुनिश्चित करने के लिए सरकार उनकी परियोजनाओं से जुड़ी मंजूरी में मदद कर रही है.उन्होंने कहा, ‘‘ हमारा मंत्रालय राज्य सरकारों और उसके अधिकारियों के साथ लगातार संपर्क में है, ताकि उनकी परियोजनाओं के समक्ष पेश होने वाली किसी भी समस्या से निपटने में मदद की जा सके.''इसके आगे मंत्री ने कहा कि सरकार कोकिंग कोयले की ‘सोर्सिंग' के लिए वैकल्पिक विकल्प तलाशने के लिए कई देशों के साथ काम कर रही है.

2023 में अब तक सात-आठ करोड़ टन के बीच आयात
वहीं, इंडियन स्टील एसोसिएशन (आईएसए) के अनुसार, पिछले दिनों चीन और वियतनाम सहित कई स्थान पर सामने आए ‘‘स्टील उत्पादों की डंपिंग'' के मामले सामने आने के बाद अब नए साल में बढ़ते आयात तथा कच्चे माल की ऊंची कीमतें उद्योग के लिए चिंता का विषय बनी रहेंगी.भारत अपनी 90 प्रतिशत कोकिंग कोयले की आवश्यकता को पूरा करने के लिए आयात पर निर्भर है. 2023 में अब तक आयात सात-आठ करोड़ टन के बीच रहा है.

Advertisement

उद्योग को आयात की समस्या का करना पड़ रहा सामना
आईएसए के महासचिव आलोक सहाय ने कहा कि उद्योग को आयात की समस्या का सामना करना पड़ रहा है. उन्हें आयात में वृद्धि के संदर्भ में सरकार से कड़ी कार्रवाई की उम्मीद है क्योंकि इससे घरेलू बाजार प्रभावित हो रहा है.आर्सेलरमित्तल निप्पॉन स्टील इंडिया (एएम/एनएस इंडिया) के मुख्य विपणन अधिकारी रंजन धर ने कहा कि आर्थिक उतार-चढ़ाव और आपूर्ति श्रृंखला व्यवधानों ने कई बड़ी चुनौतियां खड़ी की हैं.जेएसडब्ल्यू स्टील के संयुक्त प्रबंध निदेशक एवं मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) जयंत आचार्य ने कहा कि बुनियादी ढांचे, विनिर्माण, ऊर्जा बदलाव और संबद्ध क्षेत्रों के दम पर हो रही मजबूत आर्थिक वृद्धि के चलते भारत के इस्पात क्षेत्र ने इस साल 15 प्रतिशत की प्रभावशाली वृद्धि दर्ज की है.

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Featured Video Of The Day
Greater Noida की Nikki के बाद अब Jodhpur की Sanju...दहेज की आग में जल रहीं बेटियां | Dowry Case
Topics mentioned in this article