दिल्ली के पंचशील इलाके में दो बाइकों की टक्कर में एक डॉक्यूमेंट्री फिल्म निर्माता की मौत हो गई है. पुलिस के अनुसार यह घटना शनिवार रात साढ़े नौ बजे की है. पुलिस ने मृतक शख्स की पहचान पीयूष पाल के रूप में की है. घटना के बाद उसे तुरंत पास के अस्पताल लेकर जाया गया, कई दिनों के इलाज के बाद मंगलवार को उसकी मौत हो गई. इस मामले की जांच में जुटे एक पुलिसकर्मी ने बताया कि इस घटना को लेकर शनिवार की रात सवा दस बजे के करीब हौज खास पुलिस थाने के पास एक फोन आया था. पुलिस जब घटनास्थल पर पहुंची तो पता चला कि घटना में घायल पाल और बंटी को अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती कराया गया है. पुलिस अधिकारी के अनुसार दोनों बाइक के आपस में टकराने की यह पूरी घटना पास लगे एक सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई ह
बंटी के बयान पर दर्ज हुई एफआईआर
बंटी के बयान और घटनास्थल के आसपास लगे कैमरों की जांच करने के बाद पुलिस ने इस घटना को लेकर एक एफआईआर दर्ज किया है. पुलिस फिलहाल पूरे मामले की जांच में जुटी है. इन सबके बीच पाल के दोस्त सनी बोस ने पुलिस को बताया है कि बंटी की बाइक ने पाल की बाइक में टक्कर मारी थी.
बोस ने न्यूज एजेंसी पीटीआई से कहा है कि ये काफी आश्चर्यचकित करने वाला है कि इस मामले में पुलिस ने पीयूष पाल के खिलाफ ही मामला दर्ज किया है. हमने अपना दोस्त खो दिया है जिसने दो महीने पहले ही अपना जन्मदिन मनाया था.
मृतक के दोस्त ने कहा कोई मदद के लिए नहीं आया
बोस ने कहा कि मेरे दोस्त ने महंगा हेलमेट पहन रखा था. वह वही था जो 20 मिनट से अधिक समय तक खून से लथपथ पड़ा रहा. कोई भी उसकी मदद के लिए आगे नहीं आया था. लोग केवल तस्वीरें खींचने और वीडियो रिकॉर्ड करने के लिए वहां एकत्र हुए थे, तभी एक बाइक टैक्सी एग्रीगेटर ने तीन अन्य लोगों के साथ उसे उठाया और पास के अस्पताल में पहुंचाया.
पीयूष शायद अपनी स्विमिंग क्लास से घर लौट रहा था. बोस ने आरोप लगाया कि जब वह बाईं ओर मुड़ने वाले थे तो उनकी बाइक की गति सामान्य थी, एक अन्य बाइक ने उन्हें पीछे से टक्कर मार दी. उन्होंने कहा कि घटना रात करीब 9.30 बजे हुई. और लोग उन्हें आधे घंटे बाद अस्पताल ले गए. अगर लोग समय पर उनकी मदद करते तो उनकी जान बच सकती थी.
"हम सिर्फ न्याय चाहते हैं"
बोस ने कहा कि पाल का मोबाइल फोन रात 10 बजे तक बज रहा था, लेकिन बाद में बंद हो गया. एक गो-प्रो कैमरा भी गायब है, जिसका इस्तेमाल वह अपने काम के लिए वीडियो रिकॉर्ड करने के लिए करता थाय हम किसी से कोई मुआवजा नहीं चाहते, हम केवल न्याय चाहते हैं. उन्होंने कहा कि सनी के परिवार में उनके पिता, मां और एक बहन हैं. उनके पिता की चितरंजन पार्क मार्केट में एक दुकान है. उनका सपना बॉलीवुड के क्रू सदस्यों के जीवन पर एक डॉक्यूमेंट्री बनाना था कि वे मुंबई में कैसे रहते हैं और उनकी दिनचर्या क्या है.