दिल्ली : 2 दिन पहले गिरफ्तार हुए संदिग्ध आतंकियों से पूछताछ के बाद मिला टुकड़ों में कटा शव, जांच में जुटी पुलिस

दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को 26 जनवरी के गणतंत्र दिवस समारोह से पहले बड़ी कामयाबी मिली थी. स्पेशल सेल की टीम ने कनाडा में खालिस्तानी आतंकी अर्शदीप डल्ला के कथित रूप से दो मददगारों को 12 जनवरी को गिरफ्तार किया था.

विज्ञापन
Read Time: 5 mins
दिल्ली के भलस्वा डेयरी इलाके में मिला शव
फटाफट पढ़ें
Summary is AI-generated, newsroom-reviewed
  • दिल्ली के भलस्वा डेयरी का है मामला
  • पुलिस को तीन से ज्यादा टुकड़ों में कटा मिला शव
  • दो दिन पहले गिरफ्तार संदिग्ध आतंकियों से पूछताछ के बाद मिला है शव
क्या हमारी AI समरी आपके लिए उपयोगी रही?
हमें बताएं।
नई दिल्ली:

दिल्ली पुलिस को उत्तरी दिल्ली के भलस्वा डेयरी इलाके से तीन से ज्यादा टुकड़ों में कटा हुआ शव मिला है. खास बात ये है कि ये शव बीते दिनों गिरफ्तार दो संदिग्ध आतंकियों से पूछताछ के बाद बरामद किया है. एक चश्मदीद ने भी इस बात की तस्दीक की कि इलाके से जिस शव को पुलिस यहां से उठाकर ले गई है वो तीन से ज्यादा टुकड़ों में कटा हुआ था. 

बता दें कि दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को 26 जनवरी के गणतंत्र दिवस समारोह से पहले बड़ी कामयाबी मिली थी. स्पेशल सेल की टीम ने कनाडा में खालिस्तानी आतंकी अर्शदीप डल्ला के कथित रूप से दो मददगारों को 12 जनवरी को गिरफ्तार किया था. पकड़े गए लोगों में 29 साल का जगजीत सिंह उर्फ जग्गा है, जो उत्तराखंड के उधम सिंह नगर का रहने वाला है. दूसरा आरोपी 56 साल का नौशाद है, जो दिल्ली के जहांगीरपुरी का रहने वाला है. आरोपियों के पास से 3 पिस्टल और 22  कारतूस बरामद हुए थे.

स्पेशल सेल के मुताबिक, उनके मोबाइल से आतंकी प्लानिंग का ब्लू प्रिंट मिला है. आरोपी नौशाद आतंकी संगठन 'हरकत-उल-अंसार' से जुड़ा था, हत्या के दो मामलों में आजीवन कारावास की सजा काट चुका है. उसे विस्फोटक अधिनियम के एक मामले में 10 साल की सजा भी हो चुकी है.

वहीं, आरोपी जगजीत कुख्यात बंबीहा गिरोह का सदस्य है. उसे विदेश में स्थित राष्ट्र विरोधी तत्वों से निर्देश मिलते रहे हैं. वह उत्तराखंड में हत्या के एक मामले में पैरोल जम्पर है. दोनों आरोपियों की अन्य मामलों में संलिप्तता का पता लगाने के लिए आगे की जांच चल रही है.
 

Featured Video Of The Day
Bihar Election 2025: Yogi को माता सीता...Owaisi को फातिमा की याद क्यों आई? | Khabron Ki Khabar
Topics mentioned in this article