कोवैक्सीन से कैसा डर, मुंबई में इस वैक्‍सीन के एकमात्र सेंटर में टीका लगवाने आ रहे लक्ष्‍य से काफी कम लोग..

जेजे अस्‍पताल के लैब टेक्नीशियन और वार्ड सर्वेंट शनिवार को ही कोवैक्सीन का टीका ले चुके हैं. उनका कहना है कि कोई साइडइफ़ेक्ट नहीं हुआ और वे बिना तकलीफ़ दो दिन से ड्यूटी पर तैनात हैं.

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कोरोना टीकाकरण को लेकर लोगों में अभी भी कुछ न कुछ 'डर' की स्थिति है
मुंंबई:

Covid-19 Vaccination: कोरोना के खिलाफ देशभर में टीकाकरण अभियान 16 जनवरी से प्रारंभ हो चुका है लेकिन टीका को लेकर लोगों में अभी भी कुछ खौफ बना हुआ है.  इसका कारण वैक्‍सीन लेने के बाद होने वाले 'साइड इफेक्‍ट' और वैक्‍सीनेशन प्रोग्राम (Vaccination Programme) को लेकर पर्याप्‍त जागरूकता का अभाव माना जा रहा है. महानगर मुंबई की बात करें तो यहां वैक्सीन लेने के लिए लक्ष्य से काफ़ी कम लोग आ रहे हैं. भारत बायोटेक के वैक्‍सीन, 'कोवैक्सीन' को लेकर भी लोगों में तरह-तरह के अंदेशे हैं. मुंबई के जेजे अस्पताल (JJ hospital) में (जहां कोवैक्सीन दी जा रही है) दूसरे दिन के मुक़ाबले 64 फ़ीसदी कम स्वास्थ्यकर्मियों ने टीका लगवाया. गौरतलब है कि देश में दो वैक्‍सीन कोविशील्‍ड और कोवैक्‍सीन लोगों को लगाई जा रही है. 

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वैक्सीन लेने वालों का टर्नआउट तो टार्गेट के हिसाब से काफ़ी कम है ही लेकिन कोवैक्सीन को लेकर खासतौर से कई खबरें लोगों में डर पैदा कर रही हैं, मुंबई का इकलौता सेंटर जहां कोवैक्सीन दी जा रही है, वह है जेजे अस्पताल. NDTV संवाददाता ने यहां पहुँचकर पाया कि पहले दिन के मुक़ाबले दूसरे दिन टीका लेने वाले स्वास्थ्यकर्मियों की संख्‍या कम है. वेटिंग एरिया पर खाली कुर्सियों से पता चलता है कि कोवैक्सीन टीका लगवाने को लेकर लोगों की अपनी शंकाएं हैं. हालांकि वैक्‍सीनेशन के प्रति उत्‍साह जगाने के लिए काफी प्रयास किए जा रहे हैं. जेजे अस्‍पताल सेंटर के इंचार्ज और कई वरिष्ठ डॉक्टर खुद यह वैक्सीन (कोवैक्‍सीन) ले चुके हैं ताकि स्वास्थ्यकर्मियों में इसको लेकर भरोसा बने.

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जेजे अस्‍पताल वैक्‍सीन सेंटर के इंचार्ज डॉ ललित संखे का कहना हैं, 'अभी तक लोगों ने  फ़ीवर या माइल्डेस्ट रिएक्शन भी रिपोर्ट नहीं किया है.' यह पूछने पर कि इसके बावजतू टर्नआउट कम क्‍यों है, लोग वैक्‍सीन लगवाने के लिए क्‍यों नहीं आ रहे और इसे दूर करने के लिए क्‍या कर रहे हैं, उन्‍होंने बताया कि  टर्नआउट सभी जगह 40-50%  के क़रीब है हमारा भी वही है 40%. अस्‍पताल के एसोसिएट प्रोफ़ेसर (पीडीऐट्रिक्स) डॉ सुशांत माने कहते हैं,' 15-20 मिनट पहले मैंने वैक्सीन ली है. अभी तक कोई परेशानी नहीं हुई है. मेजर ऐप्रीहेंशन सबका है कि इसका साइडइफ़ेक्ट होगा, ऐसे में हम लोग लेना शुरू कर देंगे तो लोगों का डर ख़त्म होगा कि सीनियर डॉक्टर ने भी लिया और उनको कुछ नहीं हुआ.''

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अस्‍पताल के लैब टेक्नीशियन और वार्ड सर्वेंट शनिवार को ही कोवैक्सीन का टीका ले चुके हैं. उनका कहना है कि कोई साइडइफ़ेक्ट नहीं हुआ और वे बिना तकलीफ़ दो दिन से ड्यूटी पर तैनात हैं. लैब टेक्नीशियन रघुनाथ ने कहा, 'शनिवार को हमें टीका लगा था, कोई साइडइफ़ेक्ट नहीं है.' वॉर्ड सर्वेंटनितेश सावंत ने बताया कि उन्‍होंने भी शनिवार को पहला डोज लिया था, उन्‍होंने कहा, 'कोई साइडइफ़ेक्ट नहीं है, मैं तब से ड्यूटी पर हूं.'

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