कांग्रेस का यूपी चुनाव के इतिहास में अब तक का सबसे खराब प्रदर्शन, दो सीटों पर सिमटने की ओर

कांग्रेस ने इस चुनाव में प्रियंका गांधी का चेहरा आगे पेश करके चुनाव लड़ा था. लड़की हूं लड़ सकती हूं के नारे के साथ महिला वोटरों को लुभाने की कोशिश हुई. करीब 40 फीसदी टिकट महिलाओं को दिए गए.

Advertisement
Read Time: 20 mins

UP Congress का अब तक का विधानसभा चुनाव में सबसे खराब प्रदर्शन

नई दिल्ली:

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 में कांग्रेस का अब तक सबसे खराब प्रदर्शन रहा है. यूपी में कांग्रेस इस बार दो सीटों पर सिमटती दिखाई दे रही है. देश की सबसे पुरानी पार्टी कई प्रधानमंत्री देने वाले राज्य में अब निराशाजनक प्रदर्शन के सबसे निचले स्तर पर पहुंच गई है. उसे यूपी चुनाव में 2.5 फीसदी ही वोट मिलता दिख रहा है. जबकि वर्ष 2017 का विधानसभा चुनाव कांग्रेस ने सपा के साथ गठबंधन करके लड़ा था. पिछले चुनाव में कांग्रेस ने 7 सीटों पर जीत दर्ज की थी. पिछली बार उसे 6.5 फीसदी के करीब वोट मिले थे और सपा को 28.3 फीसदी. सपा ने तब 47 सीटें जीती थीं. हालांकि कांग्रेस की यूपी में खराब हालत 1985 से ही जारी है. उत्तर प्रदेश में कांग्रेस तब से 50 सीटें भी नहीं जीत पाई है. कांग्रेस 1985 के बाद से अब तक 50 का आंकड़ा नहीं पार कर पाई. इस चुनाव में इतिहास का अब तक का सबसे खराब प्रदर्शन दिख रहा है. कांग्रेस को वर्ष 2012 में 28, वर्ष 2007 में 22, वर्ष 2002 में 25 सीटें मिली थीं.

Advertisement

1991 में कांग्रेस को 46 और 1996 में 33 सीटें ही हासिल हो पाई थीं. दिल्ली की सत्ता का रास्ता देने वाले उत्तर प्रदेश में पिछले तीन दशक से ही कांग्रेस की सरकार नहीं है. इससे पहले वर्ष 1985 में कांग्रेस को 269 सीटें मिली थीं और नारायण दत्त तिवारी मुख्यमंत्री बने थे. 90 के दशक में मंडल-कमंडल की राजनीति के बाद कांग्रेस की पकड़ लगातार कमजोर होती चली गई. वर्ष 1980 में कांग्रेस को 309 विधानसभा सीटें मिली थीं. जबकि आपातकाल के बाद 1977 के चुनाव में भी उसे 47 सीटें मिली थीं.

Advertisement

यूपी में कांग्रेस ने गोविंद वल्लभ पंत, संपूर्णानंद, चंद्रभानु गुप्ता, सुचेता कृपलानी (देश की पहली महिला मुख्यमंत्री) जैसे मुख्यमंभी दिए हैं. कमलापति त्रिपाठी, हेमवंती नंदन बहुगुणा और नारायणदत्त तिवारी भी प्रभावशाली सीएम रहे. हालांकि 1989 में मुलायम सिंह यादव के मुख्यमंत्री बनने के बाद कांग्रेस का कभी सीएम नहीं रहा. कांग्रेस ने इस चुनाव में प्रियंका गांधी का चेहरा आगे पेश करके चुनाव लड़ा था. लड़की हूं लड़ सकती हूं के नारे के साथ महिला वोटरों को लुभाने की कोशिश हुई. करीब 40 फीसदी टिकट महिलाओं को दिए गए.  मुफ्त स्मार्टफोन और स्कूटी जैसे वादे किए गए, लेकिन ये वादे भी जनता को लुभा पाने में नाकाम रहे. 

Advertisement

कांग्रेस का विधानसभा चुनाव में प्रदर्शन
वर्ष- सीटें
2022 - 2
2017 - 7
2012 - 28
2007 - 22
2002- 25
1996 - 33
1991 - 46
1985  - 269
1980 -  309
1977 - 47

Advertisement

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने बहुत बड़ी जीत हासिल की