कर्नाटक: BSP विधायक ने बताया विश्वास मत पर वोटिंग के दौरान वो क्यों नहीं पहुंचे विधानसभा

बसपा सुप्रीमो मायावती ने बुधवार को कहा था कि कर्नाटक में जिस तरह सत्ता और धनबल का इस्तेमाल कर विपक्ष की सरकार को गिराने का काम किया गया, वह लोकतंत्र के इतिहास में काले अध्याय के रूप में दर्ज किया जाएगा.

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बसपा नेता एन महेश.
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विश्वास मत पर वोटिंग के दौरान थे नदारद
सरकार गिरने के बाद मायावती ने पार्टी से निकाला
कुमारस्वामी का समर्थन के लिए माया ने दिए थे निर्देश
नई दिल्ली:

एचडी कुमारस्वामी सरकार के विश्वास मत के दौरान विधानसभा से नदारद रहने वाले बसपा नेता एन महेश ने कहा कि उनका और पार्टी नेतृत्व के बीच 'कम्यूनिकेशन गेप' की वजह से ऐसा हुआ है, क्योंकि वह टि्वटर के बारे में नहीं जानते. बता दें, एच डी कुमारस्वामी सरकार गिरने के बाद मायावती ने उन्हें पार्टी से निकाल दिया था. बसपा सुप्रीमो मायावती ने मंगलवार रात को एक ट्वीट में कहा, 'कर्नाटक में कुमारस्वामी सरकार के समर्थन में वोट देने के पार्टी हाईकमान के निर्देश का उल्लंघन करके बीएसपी विधायक एन महेश आज विश्वास मत में अनुपस्थित रहे जो अनुशासनहीनता है. इसे पार्टी ने अति गंभीरता से लिया है और इसलिए महेश को तत्काल प्रभाव से पार्टी से निष्कासित कर दिया गया.'

महेश ने खुद का बचाव करते हुए कहा, 'हमारी पार्टी के कर्नाटक प्रभारी और राज्यसभा सांसद अशोख सिद्धार्थ ने बहन मायावती से बात करने के बाद मुझे तटस्थ रहने के लिए कहा था.' उनका कहना है कि वह टि्वटर के बारे में नहीं जानते, ऐसे में उन्हें इसकी जानकारी नहीं थी कि मायावती ने ट्वीट करके उन्हें कुमारस्वामी सरकार का समर्थन करने के निर्देश दिए हैं. 

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बेंगलुरू में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा, 'मैं टि्वटर या उसके बारे में कुछ भी नहीं जानता. इसलिए, जब मैं बेंगलुरु जा रहा था तो मुझे पता चला (निष्कासन के बारे में). कम्यूनिकेशन गेप की वजह से मुझे पार्टी से निकाला गया. मुझे लगता है कि आने वाले दिनों में इसे सुधारा जाएगा.'

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गौरतलब है कि बसपा सुप्रीमो मायावती ने बुधवार को कहा था कि कर्नाटक में जिस तरह सत्ता और धनबल का इस्तेमाल कर विपक्ष की सरकार को गिराने का काम किया गया, वह लोकतंत्र के इतिहास में काले अध्याय के रूप में दर्ज किया जाएगा. उन्होंने कहा, ''कर्नाटक में भाजपा ने संवैधानिक मर्यादाओं को ताक पर रखने के साथ-साथ जिस प्रकार से सत्ता व धनबल का इस्तेमाल करके विपक्ष की सरकार को गिराने का काम किया है, वह लोकतंत्र के इतिहास में काले अध्याय के रूप में दर्ज रहेगा.''

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साथ ही मायावती ने कहा, ''इसकी जितनी भी निन्दा की जाए वह कम है.'' उन्होंने इससे पहले मंगलवार को ट्वीट किया था, ''कर्नाटक में कुमारस्वामी सरकार के समर्थन में वोट देने के पार्टी हाईकमान के निर्देश का उल्लंघन करके बसपा विधायक एन. महेश आज विश्वास मत में अनुपस्थित रहे, जो अनुशासनहीनता है जिसे पार्टी ने अति गंभीरता से लिया है.'' बसपा सुप्रीमो ने कहा, ''... और इसलिए महेश को तत्काल प्रभाव से पार्टी से निष्कासित कर दिया गया.''

(इनपुट- भाषा)

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