भारतीय जनता पार्टी के लोकसभा सांसद निशिकांत दूबे ने तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा (Mahua Moitra) के खिलाफ विशेषाधिकार हनन प्रस्ताव (breach of privilege notice) दिया है. मोइत्रा ने पिछले दिनों सदन में पूर्व प्रधान न्यायधीश रंजन गोगोई पर टिप्पणी की थी, जिसपर बीजेपी सांसदों ने घोर विरोध जताया था. उनके इस बयान को सदन की कार्यवाही से निकाल दिया गया था. संसदीय कार्यों के मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा था कि टीएमसी सांसद के खिलाफ यह प्रस्ताव लाया जा सकता है, हालांकि बाद में फैसला लिया गया था कि उनके खिलाफ कार्रवाई नहीं होगी.
लेकिन गुरुवार को बीजेपी सांसद, मोइत्रा के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव लेकर आए हैं. वो इंडियन एक्सप्रेस के एडिटर राजकमल झा के खिलाफ भी मोइत्रा के बयानों को छापने के लिए नोटिस लेकर आए हैं.
इसके पहले बुधवार को बीजेपी सांसद पीपी चौधरी की ओर से यह विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया गया था. वहीं, उसी मौके पर संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने भी टिप्पणी पर आपत्ति जताई थी. हालांकि, खबर आई थी कि सदन ने मोइत्रा के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने का फैसला किया है क्योंकि अगर कानूनी पेचीदगियों को देखें तो महुआ ने किसी सिटिंग अथॉरिटी के खिलाफ कमेंट नहीं किया है.
सदन का नियम है कि कोई भी सदस्य, 'उच्च पद' पर आसीन उस शख्स के बारे में नहीं बोल सकता जब तक कि चर्चा पूरी तरह से उस पर आधारित न हो. ऐसे में नियम के हिसाब से, चूंकि रंजन गोगोई अब इस पद पर आसीन नहीं हैं, ऐसे में उनके खिलाफ टिप्पणी करने के लिए मोइत्रा पर कार्रवाई नहीं की जा सकती.