यूपी पुलिस में भर्ती के नाम पर 4 से 9.50 लाख तक में सौदा करते थे तय, दबोचे गए ठग गिरोह के 15 सदस्य 

पुलिस अधीक्षक के मुताबिक गिरफ्तार लोगों के कब्जे से 11 ब्लैंक चेक, 32 मार्कशीट, छह से अधिक आय प्रमाण पत्र, आधार कार्ड और 11 मोबाइल बरामद हुए हैं.

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लखनऊ:

उत्तर प्रदेश पुलिस के विशेष कार्य बल (STF) और मऊ तथा गाजीपुर की पुलिस टीम ने राज्य में 17 और 18 फरवरी को होने वाली पुलिस आरक्षी भर्ती परीक्षा से पूर्व ही परीक्षा में अभ्यर्थियों को पास कराने के नाम पर ठगी करने वाले 15 लोगों को गिरफ्तार किया है. मऊ के पुलिस अधीक्षक (SP) अविनाश पांडेय ने बताया कि आगामी रविवार और सोमवार को प्रदेश के अन्य जिलों के साथ ही मऊ जिले में पुलिस भर्ती परीक्षा होनी है, जिसके तहत मऊ में 89000 अभ्यर्थी परीक्षा देंगे.

एसपी ने बताया कि पुलिस टीम ने भर्ती परीक्षा में अभ्यर्थियों को पेपर हल करने के नाम पर ठगने वाला गिरोह के पांच सदस्यों को गिरफ्तार किया, जिनकी पहचान मऊ जनपद के अमित सिंह, सोनू उर्फ सिद्धार्थ, सुनील राजभर, रामकरन राम के अलावा गाजीपुर के मरदह थाना क्षेत्र के शत्रुघन यादव के रूप में हुई है. उन्होंने बताया कि गिरोह का मुख्य सरगना रविकांत पांडेय फिलहाल फरार है.

एसपी ने कहा, ‘‘नगर क्षेत्र के आरके कंसल्टेंसी के संचालक रविकांत पांडेय और उनकी टीम द्वारा अभ्यर्थियों को बरगलाकर परीक्षा पेपर हल करने के नाम पर चार लाख से 9.50 लाख रुपये तक में सौदा तय किया जा रहा था. अभ्यर्थियों से उनके मूल प्रमाण पत्र, अंक पत्र के साथ ही ब्लैंक चेक रखे जा रहे थे.''

पुलिस अधीक्षक के मुताबिक इन लोगों के कब्जे से 11 ब्लैंक चेक, 32 मार्कशीट, छह से अधिक आय प्रमाण पत्र, आधार कार्ड और 11 मोबाइल बरामद हुए हैं.

उन्होंने कहा, ‘‘उनके लैपटॉप की जांच करने पर पता चला कि उनके द्वारा कृत्रिम मेधा के माध्यम से प्रवेश पत्र पर फोटो बदलने का भी काम किया जा रहा था. अभियुक्तों के पास से तमाम सरकारी अधिकारियों की मोहर भी बरामद किए गए हैं.''

गाजीपुर से मिली खबर के अनुसार जिले की पुलिस ने आज पुलिस भर्ती परीक्षा के पास करने का झांसा देकर परीक्षार्थियों से लाखों रुपये ठगने वाले गिरोह के सरगना गोपेश यादव सहित आठ लोगों को गिरफ्तार कर उनके पास से 6 लाख रुपये और 27 लाख रुपये के चेक बरामद किये हैं.

गाजीपुर के पुलिस अधीक्षक ओमवीर सिंह ने संवाददाताओं को बताया कि इन्हें नोनहरा थाने के मिरदादपुर गांव स्थित एक मकान से गिरफ्तार किया गया, जिसे उन्होंने किराये पर लिया हुआ था.

पुलिस ने बताया कि वे कथित तौर पर उम्मीदवारों की तलाश में गांवों में घूम रहे थे और उन्हें 7-8 लाख रुपये के बदले परीक्षा पास कराने में मदद करने का वादा कर रहे थे. वे कथित तौर पर प्रत्येक उम्मीदवार से अग्रिम तौर पर एक लाख रुपये ले रहे थे.

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पुलिस अधिकारी ने बताया कि आरोपियों के पास से छह लाख रुपये बरामद किये गये हैं. उन्होंने बताया कि आरोपियों को जेल भेज दिया गया है.
 

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