Magh Month 2023 start date: हिंदू कैलेंडर में माघ का महीना 11 वां महीना होता है. फिर चैत्र महीने से नए वर्ष की शुरुआत होती है. पौराणिक ग्रंथों और धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, माघ के महीने में गंगा नदी में स्नान और दान करना शुभ है. इसके साथ ही इस महीने में भगवान सूर्य, मां गंगा और भगवान विष्णु की पूजा से विशेष लाभ प्राप्त होता है. अंग्रेजी नया साल 2023 में माघ का महीना 7 जनवरी 2023 से शुरू हो रहा है. हिंदू धर्म में इस पवित्र महीने से जुड़े खास नियम बताए गए हैं. आइए जानते हैं कि माघ का महीना कब से शुरू हो रहा है और इस दौराना क्या करें और क्या नहीं.
माघ के महीने में क्या करें और क्या नहीं | Magh Month 2023 Dos and Donts
- माघ के महीने में पवित्र नदियों में स्नान जरूर करना चाहिए. शास्त्रों के अनुसार माघ के महीने में हर भक्त को पवित्र नदी में स्नान जरूर करना चाहिए. माघ मास में अगर ऐसा संभव ना हो पाए तो नहाने के पानी में गंगाजल मिलाकर स्नान किया जा सकता है. पुण्यफल में कोई कमी नहीं होती है. इसके अलावा माघ महीने में सुबह जल्दी स्नान करके सूर्य को अर्घ्य देना बहुत लाभ देता है.
- इसके अलावा माघ महीने में रोज गीता का पाठ करना चाहिए. ऐसा करने से मन शांत रहता है, भगवान विष्णु का आशीर्वाद मिलता है और आपके जीवन में सकारात्मकता दिया सुख समृद्धि आती है.
- माघ महीने में रोजाना भगवान विष्णु की पूजा करें. साथ ही उन्हें पूजा में तिल जरूर अर्पित करें. मान्यता है कि भगवान विष्णु की पूजा में तिल अर्पित करने से व्यक्ति के सारे पाप तिल-तिल करके नष्ट हो जाते हैं. इसके अलावा इस महीने में रोज तिल खाने और जल में तिल मिलाकर स्नान करने से भी बहुत पुण्य मिलता है.
- भगवान विष्णु की कृपा पाने के लिए माघ मास में रोज सुबह और शाम तुलसी जी की पूजा जरूर करें. ऐसा करने से घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और आर्थिक स्थिति सुदृढ़ होती है.
- माघ मास में दान जरूर करें इस महीने में गर्म कपड़ों का दान और तिल का दान बहुत लाभ देता है. ऐसे में हर किसी को कोशिश करना चाहिए कि माघ के महीने में जरुरतमंद लोगों के बीच गर्म कपड़े और तिल का दान करें.
- माघ के महीने में कभी भी नॉनवेज शराब जैसे तामसिक चीजों का सेवन ना करें. इसके अलावा इस महीने इस महीने में मूली का सेवन करना भी वर्जित बताया गया है. धर्म शास्त्रों के अनुसार माघ के महीने में मूली का सेवन करना मदिरा के सेवन करने जैसा माना गया है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)