दिल्ली नेब सराय मर्डर: गर्दन पर चाकू मार बेटे ने माता-पिता को मार डाला, बहन को भी नहीं छोड़ा 

Delhi Neb Sarai Murder Case: एक माता-पिता अपने बच्चों को पढ़ाने के लिए अपने गांव-घर से दूर दिल्ली आते हैं. अच्छी शिक्षा देते हैं. मगर बेटा ऐसा निकला कि अपने माता-पिता और बहन को ही मार डाला... जानिए क्यों किया उसने ऐसा...

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Delhi Neb Sarai Murder Case: दिल्ली ट्रिपल मर्डर केस का खुलासा दिल्ली पुलिस ने कुछ ही घंटों में कर दिया.

Delhi Neb Sarai Murder Case: दक्षिण दिल्ली के नेब सराय में कुछ ही घंटों में एक दंपति और उनकी 23 वर्षीय बेटी की निर्मम हत्या के मामले को सुलझाते हुए पुलिस ने कहा है कि हत्याएं दंपति के बेटे ने की हैं. बेटे ने पहले दावा किया था कि वह हत्या के समय मॉर्निंग वॉक पर गया हुआ था. बेटे ने ही पुलिस को हत्याओं के बारे में बताया था. साथ ही कथित तौर पर अपने चाचा को फोन किया और उन्हें भी मामले की जानकारी दी थी. अधिकारियों ने कहा कि उसने अपने परिवार को नींद में मौत के घाट उतार दिया था. उसका कहना है कि उसके पिता ने उसे अपमानित किया था और उसे पता चला था कि उसके माता-पिता अपनी संपत्ति अपनी बेटी मतलब उसकी बहन को देने का इरादा रखते हैं. पुलिस ने कहा कि वह कुछ समय से इन तीनों की हत्या की योजना बना रहा था और आखिरकार अपने माता-पिता की शादी की सालगिरह पर उन्हें मार डालने का फैसला किया. अब उसे गिरफ्तार कर लिया गया है. 

कब हुई घटना?

राजेश कुमार (51), उनकी पत्नी कोमल (46) और उनकी 23 वर्षीय बेटी कविता के शव बुधवार सुबह नेब सराय स्थित उनके घर में पाए गए. राजेश और कोमल के 20 वर्षीय बेटे अर्जुन ने दावा किया था कि वह सुबह करीब 5.30 बजे टहलने के लिए निकला था और जब घर आया तो उसे तीनों के शव मिले.

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ऐसे माना हत्या की बात

पड़ोसियों ने शवों को देखा तो बताया कि राजेश, कोमल और कविता के गले में चाकू मारा गया था. एक पड़ोसी ने कहा कि अर्जुन ने उन्हें बताया था कि वह अपने माता-पिता को सालगिरह की शुभकामनाएं देने के बाद सैर के लिए निकला था. संयुक्त पुलिस आयुक्त संजय कुमार जैन ने बताया कि शव बरामद होने के बाद पुलिस ने सीसीटीवी कैमरों की फुटेज की जांच की, जिससे उन्हें पता चला कि परिवार के बाहर से कोई घर में नहीं घुसा था. घर में जबरन प्रवेश के कोई संकेत भी नहीं थे और कुछ भी चोरी या तोड़फोड़ नहीं हुई थी. जैन ने कहा कि आगे की जांच करने पर अर्जुन का बयान संदिग्ध लगा. क्योंकि उसके बयानों में कई विरोधाभास थे. फिर अर्जुन को हिरासत में ले लिया गया और लगातार पूछताछ के बाद उसने हत्या की बात कबूल कर ली.

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माता-पिता ने कोई कमी नहीं की

अर्जुन ने अपनी स्कूली शिक्षा धौला कुआं वाले आर्मी पब्लिक स्कूल़ से की है और दिल्ली विश्वविद्यालय आर्टस में बीए द्वितीय वर्ष का छात्र है. वह एक प्रशिक्षित मुक्केबाज भी है और उसने मुक्केबाजी स्पर्धा में दिल्ली का प्रतिनिधित्व कर रजत पदक भी जीता था.

पिटाई से था नाराज

जैन ने कहा कि अर्जुन ने पुलिस को बताया कि उसके पिता राजेश एक पूर्व सैनिक थे और उसे पढ़ाई और अन्य कामों को लेकर नियमित रूप से डांटते थे. पुलिस अधिकारी ने बताया कि राजेश ने हाल ही में अर्जुन की पड़ोसियों के सामने पिटाई की थी और उसे अपमानित किया था. अर्जुन को यह भी लगा कि परिवार में किसी ने उनका समर्थन नहीं किया, जिसके कारण उसे अपने माता-पिता और बहन से घृणा हो गई.

संपत्ति के लिए की हत्या

संयुक्त पुलिस आयुक्त ने कहा कि अर्जुन उपेक्षित और अलग-थलग महसूस कर रहा था और जब उसे पता चला कि उसके पिता अपनी वसीयत में अपनी संपत्ति उसकी बहन के नाम छोड़ना चाहते हैं तो वह गुस्से में आ गया. उसने अपने परिवार के सदस्यों को खत्म करने की योजना बनाई. उसने 4 दिसंबर को इसलिए चुना, क्योंकि यह उसके माता-पिता की शादी की सालगिरह थी. पुलिस को चकमा देने के लिए वह सुबह 5.30 बजे घर से बाहर गया.

पड़ोसी हैरान

मूल रूप से हरियाणा का रहने वाला यह परिवार बच्चों के लिए बेहतर शैक्षणिक और करियर के अवसर सुनिश्चित करने के लिए 15 साल पहले दिल्ली आया था.अर्जुन के एक पड़ोसी हिमानी ने समाचार एजेंसी पीटीआई के हवाले से कहा, "यह एक भयावह घटना है. कल, मैंने मां और बेटी को उनकी छत पर बात करते और हंसते हुए देखा था. आज वे जीवित नहीं हैं. अपराध बहुत आम हो गया है, लेकिन इसे पहली बार अनुभव करने से मैं पूरी तरह से हिल गई हूं." एक अन्य पड़ोसी, अंजलि ने कहा, "मां-बेटी कॉलोनी में सभी से मिलकर रहते थे. यह अकल्पनीय है कि उनके साथ इतना दुखद कुछ हो सकता है." हत्या का पर्दाफाश होने से पहले दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने केंद्र सरकार पर हमला बोला था और राष्ट्रीय राजधानी के निवासियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने में विफल रहने का आरोप लगाया था. 
 

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