फरीदाबाद : मनोज भाटी हत्याकांड में क्राइम ब्रांच को मिली एक और कामयाबी, दो शार्प शूटर गिरफ्तार

क्राइम ब्रांच की टीम के सभी सदस्यों ने गांव की छतो से भागते हुए आरोपियों का पीछा करना शुरू किया. करीब डेढ़ से 2 किलोमीटर गांव की आबादी, गन्ने के खेत से भागते, छिपते आरोपियों को दबोच लिया.

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गिरफ्तार आरोपियों के नाम धीरेंद्र उर्फ फौजी और आर्यन उर्फ बिट्टू है.
फरीदाबाद:

क्राइम ब्रांच ने सेक्टर 30 ने मनोज भाटी हत्याकांड में एक और बड़ी कामयाबी हासिल की है. इंस्पेक्टर विमल राय और उनकी टीम ने मुठभेड़ के बाद दो शार्प शूटरों को गिरफ्तार किया है. आपको बता दें कि अपराधिक लोगों ने दिनांक 23 दिसंबर को बाईपास सेक्टर 31 फरीदाबाद में मनोज भाटी को गोलियों से छलनी कर मौत के घाट उतार दिया गया था. घटना के बाद से ही पुलिस कमिश्नर ओपी सिंह के मार्गदर्शन पर काम करते हुए क्राइम ब्रांच सेक्टर 30 ने उपरोक्त केस को सुलझाते हुए मात्र 48 घंटे में चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया था. इसी कड़ी में सेक्टर 30 व इन्स्पेक्टर संदीप ने उत्तर प्रदेश के खतौली क्षेत्र के जानसठ थाने के एरिया से दो कुख्यात शार्प शूटरों को गिरफ्तार किया है. 

क्राइम ब्रांच प्रभारी ने बताया कि उनकी टीम को सूचना मिली थी कि खतौली क्षेत्र में दोनों आरोपी शार्प शूटर अपने किसी रिश्तेदार के यहां छुपे हुए हैं. क्राइम ब्रांच इंस्पेक्टर विमल राय ने अपनी सूझबूझ का परिचय देते हुए टीम गठित कर आरोपियों को दबोचने के लिए यूपी रवाना हुए. जब क्राइम ब्रांच की टीम वहां पहुंची तो उन्होंने देखा कि वहां किले नुमा दीवारें व दरवाजे जो अंदर से मजबूती के साथ बंद कर रखे थे, जब तक कि क्राइम ब्रांच की टीम दरवाजे व दीवारों को फांद पाती दोनों शार्प शूटर को भनक लग गई और वहां से हवाई फायरिंग करते हुए भाग निकले,  लेकिन क्राइम ब्रांच की टीम के सभी सदस्यों ने गांव की छतो से भागते हुए आरोपियों का पीछा करना शुरू किया. जो काफी मशक्कत के बाद करीब डेढ़ से 2 किलोमीटर गांव की आबादी, गन्ने के खेत से भागते, छिपते आरोपियों को दबोच लिया गया.

इस दौरान पुलिस टीम के कई सदस्यों को गहरी चोटें भी लगी. गिरफ्तार आरोपी धीरेंद्र उर्फ फौजी मूल रूप से भोपा उतर प्रदेश व आर्यन उर्फ बिट्टू जो कि मूल रूप से हरियाणा के पीपली खेड़ा गांव का रहने वाला है. ये दोनों बहुत ही शातिर कुख्यात किस्म के अपराधी हैं, जिनपर पहले भी हत्या, हत्या का प्रयास, डकैती, लूट, इत्यादि के मुकदमे दिल्ली और आसपास के क्षेत्र व् जम्मू कश्मीर में रजिस्टर हैं. 

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अपराधी धीरेंद्र उर्फ फौजी जो वर्ष 2002 से इंडियन आर्मी में कार्यरत था, उसने 2016 में तैश में आकर एक साथ अपने सर्विस एके 47 से पांच व्यक्तियों की गोलियों से भूनकर एक साथ हत्या कर दी थी, जिसे आजीवन कारावास की सजा हो चुकी है जो अंबाला सेंट्रल जेल से पैरोल पर आया हुआ था. इस अभियोग के मुख्य आरोपी मनोज मंगरिया को भी आजीवन कारावास की सजा हो चुकी है जो आरोपी धीरेंद्र उर्फ फौजी के साथ अंबाला सेंट्रल जेल में अपनी सजा काट रहा था वहीं से दोनों कि दोस्ती हुई जो दोनों पैरोल पर थे.

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