रवीश कुमार का प्राइम टाइम : बोलने की आजादी पर पुलिसिया अंकुश ?

5 जनवरी 2020 की देर शाम जेएनयू के परिसर में हमला होता है, अंधेरा होते-होते साबरमती हॉस्टल में गुंडे घुस आते हैं. छात्रों के साथ मारपीट करते हैं,लड़कों को मारते हैं, लड़कियों को मारते हैं. इन मामलों में जब मीडिया ने तफ्तीश कर पहचान साबित कर दी कि इनका एबीवीपी से लेकर किस-किस से संबंध है तब एक बना दबाव बना. इसके बाद पुलिस ने कमेटी बनाई और कमेटी ने दावा किया कि तस्वीरों से लोगों की पहचान कर ली गई है और अगले कदम की तैयारी की जा रही है. उसके बाद से कुछ भी पता नहीं चला है.

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