आरक्षण की मांग को लेकर पिछली साल मराठा समाद ने मुंबई सहित पूरे राज्य में 58 मूक मोर्चे निकालकर एक मिसाल कायम की थी. लेकिन साल भर बाद अब शांति भंग हो चुकी है. मराठा समाज का आरोप है कि राज्य सरकार ने साल भर में अपना एक भी वादा पूरी नहीं किया. उलटे गैर जिम्मेदार बयानबाजी कर हमारी भावनाओं से खिलवाड़ किया है, इसलिए मंगलवार को राज्य के कई ग्रामीण जिलों में बंद रखा गया था, बुधवार को मुंबई की बारी है.उधर सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली के जंतर मंतर और बोट क्लब में धरने प्रदर्शन की इजाजत दोबारा दे दी है.