मैटर्निटी लीव को लेकर महिलाएं अदालत के दरवाजे पर क्यों पहुंच रही हैं? सुप्रीम कोर्ट ने साफ किया है कि मैटर्निटी लीव के फायदे कान्ट्रैक्ट पर काम करने वाली महिलाओं को भी मिलेंगे. सुप्रीम कोर्ट ने मैटर्निटी बेनिफिट एक्ट 1961 के सेक्शन 3 और 5 के तहत याचिकाकर्ता को 3 महीने के अंदर सारे फायदे देने को कहा. कंपनियों ने झंझट से बचने का तरीका अपनाया है कि उन्हें नौकरी ही न दी जाए.