भारत का महत्वाकांक्षी मिशन चंद्रयान-2 अब अपनी यात्रा के आखिरी पड़ाव के क़रीब पहुंच गया है. रविवार शाम 6 बजकर 21 मिनट पर चांद के इर्द-गिर्द घूम रहे चंद्रयान के बूस्टर रॉकेट दाग कर उसे चांद के और क़रीब की कक्षा में लाया गया. 52 सेकंड की इस प्रक्रिया को कामयाबी के साथ पूरा कर लिया गया. चांद की कक्षा में पांचवीं बार उसकी कक्षा को इस तरह नीचे लाया गया है. अब सोमवार को काफ़ी अहम प्रक्रिया को अंजाम दिया जाना है. इसके तहत चंद्रयान से विक्रम लैंडर को अलग किया जाएगा. आख़िरी और सबसे अहम प्रक्रिया सात सितंबर की आधी रात होगी जब विक्रम लैंडर को चांद के दक्षिणी ध्रुव के पास उतारा जाएगा. इस प्रयोग को देखने के लिए ख़ुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसरो के कमांड एंड कंट्रोल सेंटर में मौजूद रहेंगे. भारत के चंद्रयानमिशन पर नासा समेत दुनिया की तमाम अंतरिक्ष एजेंसियों की क़रीबी से निगाह है.