क्या पेट के बल सोने से पेट कम होता है? पेट की चर्बी कम करने के लिए कौन सी स्लीपिंग पोजीशन सबसे अच्छी है, जान‍िए आयुर्वेदाचार्य प्रताप चौहान से

सोते समय मैं पेट की चर्बी कैसे जलाऊं? अगर आप सोते हुए अपना वजन कम करने की सोच रहे हैं तो आयुर्वेदाचार्य डॉक्‍टर प्रताप चौहान से जानते हैं यह कैसे संभव है.

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पेट के बल सोने से पेट कम होता है क्या?

Pet ke bal sone se vajan kam hota hai: क्या पेट के बल सोने से बेली फैट कम होता है. आयुर्वेदाचार्य और जीवा आयुर्वेद के फाउंडर डॉ. प्रताप चौहान एनडीवी को बताया क‍ि कि 'कई लोग मेरे पास यही सवाल लेकर आते हैं. यह सुनकर मुझे हमेशा एक बात साफ लगती है कि वजन घटाने के मामले में लोग शॉर्टकट जरूर ढूंढते हैं, लेकिन शरीर कभी आसान तरीके से नहीं बदलता है. आयुर्वेद में हम वजन को सिर्फ एक मुद्रा से नहीं, बल्कि ओवरऑल नजरिए से देखते हैं कि आपका डाइजेशन कैसा है, आप क्या खाते हैं, कैसे सोते हैं, कितना स्ट्रेस लेते हैं. ये सब मिलकर तय करते हैं कि आपका बेली फैट घटेगा या बढ़ेगा.' इसलिए पेट के बल सोने वाली सलाह पर यकीन करने से पहले यह समझना जरूरी है कि शरीर की चर्बी सिर्फ दबाव से नहीं घटती. अगर आपको सच में बेली फैट कम करना है, तो समझना होगा कि उसकी जड़ शरीर के अंदर छिपी होती है, न कि सोने की पोजीशन में. आइए जानते हैं बेली फैट कम करने का तरीका.

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क्या पेट के बल सोना वजन कम करने में मदद करता है (Does sleeping on your stomach help you lose weight?)

पेट के बल सोने को लेकर लोगों में एक गलत धारणा है कि इससे पेट पर दबाव बनता है और फैट कम होने लगता है. सच यह है कि शरीर की चर्बी दबाव से नहीं घटती. फैट कहां और कितना जमा होगा, यह आपके पाचन, हार्मोन और मेटाबॉलिज्म पर निर्भर करता है. पेट के बल सोना कुछ लोगों को आराम दे सकता है, लेकिन लंबे समय तक ऐसा करने से रीढ़ और गर्दन पर खिंचाव की समस्या भी हो सकती है. मतलब सिर्फ पेट के बल सोने से बेली फैट में कोई खास कमी नहीं आती. यह पोजीशन कुछ लोगों में पाचन को थोड़ा प्रभावित कर सकती है और पाचन का असर वजन पर पड़ सकता है, लेकिन इसे वजन कम करने का तरीका मानना गलत है.

आयुर्वेद के अनुसार बेली फैट क्यों बढ़ता है (Why does belly fat increase according to Ayurveda?)

डॉ. प्रताप चौहान कहते हैं आयुर्वेद में बेली फैट को कफ दोष के असंतुलन से जोड़ा जाता है. जब आपकी अग्नि कमजोर होती है, तो शरीर भोजन को ठीक से नहीं पचा पाता और फैट जमा होने लगती है. यह प्रक्रिया कई दिनों और महीनों में धीरे-धीरे बढ़ती है. कई बार लोग समझते हैं कि उनका वजन अचानक बढ़ने लगा है, जबकि असल में उनकी दिनचर्या में छोटे-छोटे बदलाव, जैसे देर रात खाना, देर से सोना या तनाव में रहना अग्नि को कमजोर कर देते हैं. जब पाचन धीमा पड़ता है, तो खाना शरीर में जमा होने लगता है और धीरे-धीरे पेट के आसपास चर्बी बढ़ जाती है.

नींद का वजन पर इतना असर क्यों पड़ता है (Why does sleep have such an impact on weight?)

अक्सर लोग वजन कम करने की कोशिश में डाइट और एक्सरसाइज पर ध्यान देते हैं, लेकिन नींद को भूल जाते हैं. अपर्याप्त नींद आपका कोर्टिसोल हार्मोन बढ़ाती है, जो तनाव के साथ-साथ बेली फैट जमा करने में भी रोल निभाता है. जब आप देर रात तक जागते रहते हैं, खाना देर से खाते हैं या मोबाइल पर स्क्रॉल करते हुए सोते हैं, तो आपका मन अस्थिर हो जाता है और अग्नि कमजोर पड़ने लगती है. आयुर्वेद कहता है कि शरीर को समय पर आराम मिलना बहुत जरूरी है. रात में शांत मन से सोएं, ज्यादा देर तक न जागें और नींद पूरी लें. इससे आपका शरीर सुबह हल्का महसूस करता है, पाचन बेहतर होता है और दिनभर की एक्टिविटीज में एनर्जी बनी रहती है. जब जिंदगी में एनर्जी और बैलेंस आता है तो वजन भी धीरे-धीरे कम होने लगता है.

बेली फैट कम करने के लिए क्या करें (What to do to reduce belly fat)

1. सुबह उठकर हल्की सैर या योग करें. इससे शरीर में हल्कापन आता है और मेटाबॉलिज्म एक्टिव होता है. 

2. दिनभर में गुनगुना पानी पिएं. यह शरीर से जमा हुई गंदगी को बाहर निकालने में मदद करता है.

3. अपने खाने में अजवाइन, दालचीनी और सौंफ जैसे मसाले शामिल करें, जो पाचन को बेहतर बनाते हैं.

4. खाना हल्का, ताजा और गर्म ही खाएं.

5. कोल्ड ड्रिंक्स, फ्रिज में रखा खाना और तले हुए फूड्स जितना हो सके कम करें.

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