इक्कीसवीं सदी के भारत में यह दिल तोड़ने वाली कहानी है. एक शख्स अपनी बीमार पत्नी को ठेले से अस्पताल ले जाता है, जहां से उसे शहर रैफर किया जाता है. वहां जाने के लिए एम्बुलेंस नहीं मिलती और पांच घंटे की भागदौड़ के बाद महिला की मौत हो जाती है. सौरभ शुक्ला की रिपोर्ट.