दलबदल भारत की राजनीति में एक सामान्य घटना है होती रही है और आगे भी होती रहेगी. राज्यसभा चुनाव के समय में कब, कौन, कहां से किस पार्टी में आ जाए कई बार पार्टी वालों को ही मालूम नहीं चलता. ज्योतिरादित्य सिंधिया के मामले में कांग्रेस बीजेपी दोनों को मालूम था कि सिंधिया एक पार्टी से आ रहे हैं और दूसरी में जा रहे हैं. जिस बीजेपी पर सिंधिया बीजेपी पर लोकतंत्र की हत्या और मध्यप्रदेश में सरकार गिराने के आरोप लगा रहे थे. उन्हें बीजेपी ने ही माफ कर दिया तो पुराने बयानों को खंगालने का कोई मतलब नहीं है. अब कांग्रेस से कोई आरोप लगाया करेगा कि वो राज्य में सरकार गिराने का काम कर रहे हैं. बुधवार को जेपी नड्डा ने सिंधिया को बीजेपी की सदस्यता दिलाई. कांग्रेस में एक परिवार कम हुआ तो बीजेपी में एक परिवार पूरा हो गया.