'टॉयलेट एक प्रेम कथा' स्वच्छ भारत जैसे संदेश को बल देती है, फिल्म कि कहानी में केशव ( अक्षय कुमार) को जाया (भूमि पेडणेकर) से प्यार हो जाता है जो की नयी सोच की पढ़ी लिखी लड़की है, लेकिन जब जया केशव से शादी करके घर आती है तो उसे पता लगता है की केशव के घर में शौचालय नहीं है. फिल्म इंटरवेल के बाद भी स्पीड नहीं पकड़ती है और यहां भी आप कुर्सी पर बैठकर थोड़ा बेचैन होने लगते हैं.