मुंबई के नायर अस्पताल में 22 मई को जातिगत टिप्पणियों से परेशान होकर सेकेंड ईयर की छात्रा पायल तड़वी ने आत्महत्या कर की थी. अब इस मामले की जांच में कई चौथी दर्जा कर्मचारियों ने इस बात को माना है कि पायल के साथ सीनियर डॉक्टर जातिसूचक शब्दों को इस्तेमाल करते थे. इतना ही नहीं एक बार तो उसे 'आदिवासी जंगली' तक कह दिया गया था. डॉक्टरों पायल से कहते थे कि जब तक वो यहां वह उसे डिलीवरी नहीं करने देंगे. इस मामले में जांच जारी है और अगली सुनवाई 30 जुलाई को होनी है.