Engineering in Local Language: शिक्षा में भाषा बाधा ना बने इसके लिए भारत में 2020 में नई शिक्षा नीति में ये नियम लाया गया था कि इंजीनियिंग जैसी पढाई में भाषा कोई बाधा नहीं बनेगी और छात्र अपनी मातृ भाषा में इंजीनियिंग की पढाई कर सकेंगे. भारत की ये कोशिश अब रंग लाती दिखाई दे रही है. AICTE ने 11 स्थानीय भाषाओं में बीटेक की पढ़ाई शुरू कराई. 2021-22 में 18 इंजीनियरिंग कॉलेजों में स्थानीय भाषा के लिए 1140 सीटें रखी गईं. उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में अब स्थानीय भाषा में इंजीनियिंग की सीटें भर रही है. मातृ भाषा में तकनीकी शिक्षा देना कितना सही है, इसे लेकर IIT कानपुर के Professor Avinash Agrawal ने जानकारी दी है.