Vidhan Parishad: देश के इन राज्यों में है विधान परिषद, जानिए इसके बारे में सब कुछ

मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी (Y. S. Jaganmohan Reddy) की अध्यक्षता वाली आंध्र प्रदेश कैबिनेट की 27 जनवरी को हुई बैठक के बाद आंध्र प्रदेश विधान परिषद को खत्म करने का फैसला लिया गया.

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सभी 133 सदस्यों ने विधान परिषद को खत्म करने के प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया.
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आंध्र प्रदेश में विधान परिषद को समाप्त करने के प्रस्ताव को मिली मंजूरी.
वर्तमान में देश के छह राज्यों में विधान परिषद है.
अनुच्छेद 370 हटाए जाने से पहले जम्मू-कश्मीर में भी विधान परिषद थी.
नई दिल्‍ली:

आंध्र प्रदेश में विधान परिषद (Andhra Pradesh Vidhan Parishad) को समाप्त करने के प्रस्ताव को पारित कर दिया गया है. राज्य की 175 सदस्यीय विधानभा में मत विभाजन के दौरान उपस्थित सभी 133 सदस्यों ने विधान परिषद को खत्म करने के प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया. विधानसभा अध्यक्ष ताम्मिनेई सीताराम ने घोषणा की कि राज्यों में विधान परिषदों के गठन या निरस्तीकरण से संबंधित अनुच्छेद 169 (1) के तहत प्रस्ताव को बहुमत से स्वीकार कर लिया गया. तेदेपा प्रमुख एवं विधानसभा में विपक्ष के नेता एन चंद्रबाबू नायडू ने परिषद को समाप्त करने को लेकर सरकार की आलोचना की. 

क्या है विधान परिषद 
विधान परिषद कुछ भारतीय राज्यों में लोकतंत्र की ऊपरी प्रतिनिधि सभा है. संविधान का अनुच्छेद 171 किसी राज्य में विधानसभा के अलावा एक विधान परिषद के गठन का विकल्प भी प्रदान करता है. राज्यसभा की तरह विधान परिषद के सदस्य सीधे मतदाताओं द्वारा निर्वाचित नहीं होते. इसके सदस्य अप्रत्यक्ष चुनाव के द्वारा चुने जाते हैं. कुछ सदस्य राज्यपाल के द्वारा मनोनित किए जाते हैं. विधान परिषद सदस्य (MLC) का कार्यकाल भी 6 वर्ष का होता है, जहां प्रत्येक दो वर्ष की अवधि पर इसके एक-तिहाई सदस्य कार्यनिवृत्त हो जाते हैं.

इन राज्यों में है विधान परिषद
वर्तमान में छह राज्यों आंध्र प्रदेश, बिहार, कर्नाटक, महाराष्ट्र, तेलंगाना और उत्तर प्रदेश में विधान परिषद हैं. अनुच्छेद 370 हटाए जाने से पहले जम्मू-कश्मीर में भी विधान परिषद थी. 

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विधान परिषद के लिए ऐसे चुने जाते हैं सदस्य 
-परिषद के लगभग एक तिहाई सदस्य विधान सभा के सदस्यों द्वारा ऐसे व्यक्तियों में से चुने जाते हैं जो इसके सदस्य नहीं हैं.
-एक तिहाई (1/3) निर्वाचिका द्वारा, जिसमें नगरपालिकाओं के सदस्य, जिला बोर्डों और राज्य में अन्य प्राधिकरणों के सदस्यों सम्मलित हैं, द्वारा चुने जाते हैं.
-एक बटा बारह (1/12) का चुनाव निर्वाचिका द्वारा ऐसे व्यक्तियों द्वारा किया जाता है जिन्होंने कम से कम तीन वर्षों तक राज्य के भीतर शैक्षिक संस्थाओं (माध्यमिक विद्यालयों से नीचे नहीं) में अध्यपन में लगे रहे हों.
-अन्य एक बटा बारह (1/12) का चुनाव पंजीकृत स्नातकों द्वारा किया जाता है जो तीन वर्ष से अधिक समय पहले पढ़ाई समाप्त कर लिए हैं.
-शेष सदस्य राज्यपाल द्वारा साहित्य, विज्ञान, कला, सहयोग आन्दोलन और सामाजिक सेवा में उत्कृष्ट कार्य करने वाले व्यक्तियों में से नियुक्त किए जाते हैं.
 

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