World Heritage Day: आज 'वर्ल्ड हैरिटेज डे' ( World Heritage Day) है. देश-दुनिया में संस्कृति और विरासत को बढ़ावा देने और संरक्षित करने के लिए हर साल 18 अप्रैल को 'वर्ल्ड हैरिटेज डे' यानी 'विश्व विरासत दिवस' मनाया जाता है. विश्व स्तर पर आयोजित किए जाने वाले इस दिवस का मनाने का श्रेय पेरिस स्थित इंटरनेशनल काउंसिल ऑन मॉन्यूमेंट्स एंड साइट्स (International Council on Monuments and Sites) को जाता है. साल 1982 में 18 अप्रैल के दिन इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ मोनुमेंट्स एंड साइट के द्वारा पहला 'विश्व विरासत दिवस' मनाया गया था, पहली बार इस डे को ट्यूनीशिया में मनाया गया था.
आपको बता दें कि इस दिवस को मनाने का उद्देश्य स्थानीय समुदायों और व्यक्तियों को उनके जीवन में सांस्कृतिक विरासत के मूल्य को पहचानने के लिए प्रोत्साहित करना है. यह दिन स्मारकों को संरक्षित करने के उपायों के अलावा, सांस्कृतिक विरासत की विविधता और भेद्यता के बारे में जागरूकता बढ़ाने पर भी केंद्रित है.
जानें इसके इतिहास और महत्व को
18 अप्रैल 1982 में, इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ मोनुमेंट्स एंड साइट (ICOMOS) ने स्मारकों और स्थलों के लिए अंतर्राष्ट्रीय दिवस के रूप में इस दिन को मनाने का प्रस्ताव दिया था. उसके अगले वर्ष यूनेस्को ने अपने 22 वें आम सम्मेलन में इस तारीख को अपनाया गया और तब से यह एक वैश्विक कार्यक्रम बन गया. इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ मोनुमेंट्स एंड साइट (ICOMOS) तब से हर साल इस दिन के लिए एक थीम प्रस्तावित करता रहा है.
2022 का थीम
इस साल यानी 2022 में 'वर्ल्ड हैरिटेज डे' की थीम विरासत और जलवायु है. आईसीओएमओएस (ICOMOS) ने अपने सदस्यों, व्यक्तियों और संगठनों से थीम के इर्द-गिर्द गतिविधियां आयोजित करने का आह्वान किया है. इस वर्ष की थीम विरासत की रक्षा के लिए जलवायु के साथ न्याय और समानता के सवालों के जवाब देने का अवसर है. यह उन तरीकों पर चर्चा करने का भी एक अवसर है जिससे हम कमजोर समुदायों की समान सुरक्षा प्राप्त कर सकते हैं.
आईसीओएमओएस ने कहा, "यह दिन विरासत संरक्षण अनुसंधान और अभ्यास की पूरी क्षमता को बढ़ावा देने के लिए रणनीतियों को प्रदर्शित करने का एक समय पर अवसर प्रदान करता है ताकि कम कार्बन ट्रांजिशन में बदलाव की वकालत करते हुए सतत विकास को मजबूत करने के लिए जलवायु के लिए लचीला मार्ग प्रदान किया जा सके."
आईसीओएमओएस ने सुझाव दिया कि जो लोग 'वर्ल्ड हैरिटेज डे' मनाना चाहते हैं वे आपदा जोखिम (जलवायु- और मानव-प्रेरित), स्थानीय विरासत, संघर्ष में विरासत और विरासत और लोकतंत्र से संबंधित विषयों को चुनकर ऐसा कर सकते हैं.