हॉरर कॉमेडी एक ऐसा जॉनर है जिसमें बहुत ही फूंक-फूंककर कदम रखने होते हैं. सावधानी हटी और दुर्घटना घटी वाली स्थिति होती है. बॉलीवुड में हॉरर-कॉमेडी जॉनर में कई फिल्में बनी हैं, जिनमें भूलभुलैया, स्त्री, गो गोवा गॉन और गोलमाल अगेन जैसी कई सफल फिल्मों के नाम आते हैं. 'फोन भूत' उसी दिशा में लापरवाही के साथ उठाया गया कदम है. ईशान खट्टर और सिद्धांत चतुर्वेदी जैसे युवा कलाकारों और कैटरीना कैफ जैसी सुपरस्टार के साथ डायरेक्टर गुरमीत सिंह 'फोन भूत' लेकर आए. फिल्म न तो हंसा पाती है और न ही डरा पाती है. इस तरह 'फोन भूत' बीच में ही झूलती रह जाती है.
फिल्म की कहानी ईशान खट्टर और सिद्धांत चतुर्वेदी की है. जो हॉरर की एक अलग ही दुनिया में जीते हैं. इस दीवानगी के बीच उनकी मुलाकात होती है कैटरीना कैफ से. जो एक भूत है. ऐसी भूत जो उनके लिए एक बिजनेस प्रपोजल रखती है, और वह फायदे के सौदे को तैयार हो जाते हैं. लेकिन इसके पीछे कैटरीना का इरादा क्या है, यह काफी मायने रखता है. इस तरह तीनों मिलकर एक मिशन पर निकलते हैं, और इसमें जैकी श्रॉफ और शीबा चड्ढा की भी एंट्री होती है. डायरेक्टर ने इस तरह भूतों की एक दुनिया रचने की कोशिश की. लेकिन वह खुद ही कहानी के मकड़जाल में फंसकर रह गए.
'फोन भूत' को युवाओं को फोकस करके बनाया गया है. इसके डायलॉग और सितारों से इशारा मिल ही जाता है. अब बात करें एक्टिंग की तो ईशान खट्टर और सिद्धांत चतुर्वेदी ने अपने किरदारों को अच्छे से निभाने की कोशिश की है, लेकिन एक्टिंग के मोर्चे पर दोनों के ही हाथ तंग नजर आते हैं. बात कैटरीना कैफ की करें तो एक-दो सीन्स में वह इम्प्रेसिव लगी हैं, बाकी वह कहीं भी खास असर नहीं डाल पाती हैं. शीबा चड्ढा ने अच्छा काम किया है जबकि जैकी श्रॉफ एकदम एवरेज है. इस तरह कमजोर कहानी और दिशाहीन डायरेक्शन की वजह से फिल्म निराश करती है.
रेटिंग: 1.5/5 स्टार
डायरेक्टर: गुरमीत सिंह
कलाकार: कैटरीना कैफ, ईशान खट्टर और सिद्धांत चतुर्वेदी
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