राम का नाम तब भी सत्य था, अब भी सत्य है. मगर जो साल था तब भी झूठ था अब भी झूठ है. वो 2013 का साल था. अजीब साल था वह. किसी भूत की तरह श्मशान से निकल आता है. (ब्रीद...राम नाम सत्य है) सिलेंडर की अथच् निकली थी. दाम 600 के आस पास था. अब उसी सिलेंडर का दाम 833 रुपया हो चुका है, मगर शवयात्रा निकालने वाले गायब हैं. दरअसल, वो अरथी का अथ समझ चुके हैं. वो जानते हैं कि राजनीति झूठी है, राम का नाम सत्य है.