चाचा और भतीजे के बीच उपजे तनाव के कारण लोक जनशक्ति पार्टी दो फाड़ हो चुकी है. दोनों ही गुट पार्टी पर अपना अधिकार साबित करने की हर संभव कोशिश कर रहे हैं. पहले पशुपति कुमार पारस खेमे ने सांसदों के साथ मिलकर पार्टी पर अपना दावा ठोकते हुए चिराग को अध्यक्ष पद से हटा दिया तो वहीं दूसरी तरफ चिराग ने पांचों सांसदों को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया. इस पूरे मामले पर पशुपति पारस खुलकर भतीजे के खिलाफ बोलते हुए नजर आए. NDTV से बातचीत में उन्होंने सवाल उठाते हुए पूछा कि आखिर किस अधिकार के तहत सांसदों को पार्टी से बाहर निकाला गया.