झारखंड में राजमहल पहाड़ी पर आदिवासियों के टीले हैं. यहां के स्कूल में टीचर साल में केवल दो दिन ही आते हैं, 26 जनवरी और 15 अगस्त को. मिड-डे मिल के लिए स्कूल के रजिस्टर में सौ से अधिक बच्चों के नाम दर्ज हैं, लेकिन जब टीचर ही नहीं आते तो बच्चे कहां से आएंगे.