ओल्ड मुस्तफ़ाबाद की एक गली में दंगाई कोई नुकसान नहीं पहुंचा पाए. फिर भी इस गली में मातम पसरा हुआ है. हादसे के दिन मुस्तफ़ाबाद में गली नंबर-2 के 35 साल के मुदस्सर ख़ान किसी काम से शिव विहार गए लेकिन अगले दिन वापस लौटते वक्त वो दंगाइयों की गोली का शिकार बन गए. मुदस्सर ख़ान की 8 बेटियों में एक 18 दिन की है जबकि सबसे बड़ी 9वीं कक्षा की छात्रा है. इन बच्चों को अभी पूरी तरह अहसास भी नहीं हो पाया है कि इस दंगे में उन्होंने क्या खो दिया है.