अपनी बेहद अलग और दिलकश आवाज से सुनने वालों का दिल जीत लेने वाली सिंगर उषा उथुप की गायकी ने बॉलीवुड में एक अलग पहचान बनाने में सफलता हासिल की. दम मारो दम, दोस्तों से प्यार किया, वन टू चा-चा-चा और रम्बा हो हो हो जैसे गानों से दर्शकों को झूमने पर मजबूर करने वाली उषा उथुप का बॉलीवुड में सफर इतना आसान नहीं था. हिंदी फिल्म जगत में पॉप सिंगिंग को अलग मुकाम तक ले जाने वाली 'उषा दी' कभी नाइटक्लब में गाना गाया करती थीं. लेकिन उन्होंने अपनी सिंगिंग के जरिये करोड़ों दिलों पर राज किया.
देश ही नहीं दुनिया भर में अपनी पहचान बना चुकीं उषा को उनके खास लुक्स के लिए भी जाना जाता है. सिल्क की साड़ी के साथ माथे पर बड़ी सी बिंदी और बालों में गजरा लगाए उषा उथुप का लुक हर भारतीय के आंखों में समाया हुआ है. साड़ी में लिपटी उषा जब अपनी भारी भरकम आवाज में गीतों के तराने छेड़ती हैं तो महफिल में बैठा कर कोई झूमने को मजबूर हो जाता है. महज 20 साल की उम्र में चेन्नई और कोलकाता के नाइट क्लब में गाना गाने वाली उषा दी की काबिलियत को सबसे पहले एक्टर शशि कपूर ने पहचाना था. दिल्ली के ओबरॉय होटल में गाना गाते वक्त शशि कपूर ने उषा उथुप को देखा और उन्हें गाना ऑफर किया.
ऊषा ने 1970 में आई फिल्म बाम्बे टॉकीज में गाना गाया था. इसके बाद फिल्म 'हरे रामा हरे कृष्णा' ऊषा ने आशा भोसले के साथ 'दम मारो दम' गाना गाया. इसके बाद फिल्म 'शान', 'शालीमार', वारदात','अरमान', 'प्यारा दुश्मन', 'डिस्को डांसर', 'अरमान', 'दौड़', 'भूत', 'जॉगर्स पार्क' और 'हैट्रिक' जैसी फिल्मों में गीत गाकर उन्होंने खूब तारीफे बटोरी. उषा दी को खूब शोहरत मिली.
VIDEO: अनिल कपूर ने NDTV से बॉलीवुड में चार दशक के काम पर की बात