मौत और जिंदगी एक सिक्के के दो पहलू हैं. कब क्या हो जाए इस बारे में कुछ कहा नहीं जा सकता है लेकिन हम आपको एक ऐसे शख्स के बारे में बताएंगे जिसने बहुत ही कम समय में बुलंदियों को देखा. लेकिन जब उनकी मौत की खबर आई तो हर कोई हैरान था. इश्मीत सिंह जो 18 साल की उम्र में अपनी दिलकश आवाज के जरिए लाखों दिलों की धड़कन बन गए थे. उनका पहला म्यूजिक एल्बम एक धार्मिक गुरबानी “सतगुरु तुमरे काज सवारे” था. उनकी असामयिक मृत्यु की खबर ने भारतीय म्यूजिक इंडस्ट्री और फैन्स को झकझोर कर रख दिया.
इश्मीत सिंह का जन्म 2 सितंबर 1988 को लुधियाना के रहने वाले गुरपिंदर सिंह और अमृतपाल कौर के घर हुआ. इश्मीत का कम उम्र में ही गायिकी की ओर झुकाव होने लगा. उन्होंने लुधियाना के गुरु शबद संगीत अकादमी के प्रिंसिपल सुखवंत सिंह और अपने चाचा डॉ. चरण कमल सिंह से कीर्तन गायन की ट्रेनिंग ली. इश्मीत सिंह की उम्र जब 17 साल थी तो उन्होंने रियलिटी शो वॉयस ऑफ इंडिया में हिस्सा लिया. वह इस रियलिटी शो में शामिल होने वाले सबसे कम उम्र के कंटेस्टेंट्स में से एक थे. उन्होंने अपनी गायिकी से जज और ऑडियंस का दिल जीता और शो में फाइनल तक का सफर तय किया.
इश्मीत सिंह ने 24 नवंबर 2007 को रियलिटी शो वॉयस ऑफ इंडिया का खिताब जीता. वह लखनऊ के हर्षित सक्सेना को हराकर हिंदुस्तान की आवाज बने थे. स्वर कोकिला लता मंगेशकर ने इश्मीत को अपने हाथों से विजेता का खिताब सौंपा था. इस शो के जीतने के बाद एक दुखद भरी खबर सामने आई. पता चला कि इश्मीत सिंह का महज 19 साल की उम्र में निधन हो गया. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, वह 1 अगस्त 2008 को होने वाली 'स्टार वॉयस ऑफ मालदीव' प्रतियोगिता में परफॉर्म करने के लिए मालदीव गए थे. लेकिन उनकी अपने परफॉर्मेंस से पहले यानि 29 जुलाई 2008 को स्विमिंग पूल में डूबने से मौत हो गई.
इश्मीत सिंह की मौत के बाद कई सवाल उठने लगे. जब इश्मीत को स्विमिंग पूल से बाहर निकाला गया तो उसके सिर और शरीर पर चोट के निशान मिले थे. पुलिस ने जांच के दौरान कहा था कि इश्मीत को स्विमिंग नहीं आती थी इसके चलते उनकी मौत हुई. उनकी गायकी का अंदाज शान से काफी मिलता-जुलता था. एक बार शान ने इश्मीत के बारे में कहा था कि जब वे साथ में गाते थे तो उन्हें खुद नहीं पता चलता था कि वे कौन सी लाइन गा रहे हैं.