डांस और स्टेज शो की अगर बात हो और सपना चौधरी (Sapna choudhary) का जिक्र ना हो तो बात अधूरी सी ही लगती है. हरियाणा के मंच से देश-विदेश, फिल्में और बिग बॉस तक की राह बना चुकीं सपना आज किसी परिचय की मोहताज नहीं हैं. सपना की शुरुआत से बात शुरू करें तो उनका जन्म रोहतक जिले के एक छोटे से गांव में हुआ था. साधारण परिवार, पिता की मृत्यु के बाद आर्थिक तंगी ने जिंदगी को चुनौती बना दिया. स्कूल छूट गया, लेकिन सपना के हौसले नहीं डगमगाए. बचपन से ही डांस उनका जुनून था. गांव के मेलों में लोकगीतों पर थिरकतीं और लोग उनकी तारीफों में डूब जाते.
एक बार किसी लोकल मंच पर ‘सॉलिड बॉडी' गाने पर उसका डांस देखकर भीड़ पागल हो गई. किसी ने वीडियो बनाकर इंटरनेट पर डाल दिया. सुबह तक सपना का नाम हरियाणा में गूंज रहा था. उन्होंने सोचा, ‘यही मौका है!' दिल्ली की राह पकड़ी, जहां रास्ते कांटों भरे थे. छोटे-छोटे शो मिले कई लोगों की बातें भी सुनने को मिलीं लेकिन सपना ने हार न मानी.
यूट्यूब पर उनका गाना ‘तेरी आख्या का यो काजल' रिलीज हुआ और रातोंरात वायरल. लाखों व्यूज, फैन फॉलोइंग. सपना अब हरियाणवी म्यूजिक की शहजादी थीं. बॉलीवुड ने भी बुलाया, ‘बिग बॉस' में उसकी सादगी और ठुमकों ने दर्शकों का दिल जीता. फिर आए म्यूजिक वीडियोज, फिल्में, और स्टेज शोज.
सपना ने कभी अपनी जड़ें नहीं भूलीं. वह कहती, ‘मैं गांव की मिट्टी हूं, मेरे डांस में मेरी मिट्टी की खुशबू है.' आज वह लाखों लड़कियों की प्रेरणा हैं जो सपने देखने से डरती हैं. उनकी कहानी सिखाती है कि मेहनत और जुनून से कोई भी मंजिल दूर नहीं. सपना चौधरी अब सिर्फ एक नाम नहीं, बल्कि एक मिसाल हैं. गांव की गलियों से चमकते मंच तक, उन्होंने साबित किया है कि सपने सच होते हैं.