शनिवार(11) रात जब एक्ट्रेस प्रनूतन बहल 70वें फिल्मफेयर अवॉर्ड्स में पहुंचीं तो उनके आउटफिट - कढ़ाई वाली साड़ी - ने सबका ध्यान अपनी तरफ खींचा. किसी भी आकर्षक डिजाइन से ज्यादा, कढ़ाई उनकी दादी, लीजेंड्री एक्ट्रेस नूतन के लिए एक खास श्रद्धांजलि थी. हिंदुस्तान टाइम्स से बातचीत में प्रनूतन ने अपने भाव और परिवार की विरासत के बारे में बात की.
अवॉर्ड सेरेमनी में नूतन को मिला खास सम्मान
नूतन को मरणोपरांत अवॉर्ड नाइट में एक स्पेशल सिने आइकन अवॉर्ड से सम्मानित किया गया. उनकी तरफ से यह पुरस्कार उनके बेटे, सीनियर मोहनीश बहल और पोती प्रनूतन ने रिसीव किया. इस पल के बारे में बात करते हुए, प्रनूतन कहती हैं, "बचपन से ही, किसी न किसी रूप में, मैं हमेशा उनका प्रतिनिधित्व करती रही हूं. मैं फिल्मों में अपने परिवार की पांचवीं पीढ़ी हूं. मैंने हमेशा नूतन जी की पोती होने की जिम्मेदारी निभाई है और यह सिर्फ मेरे काम में ही नहीं, बल्कि उनके और मेरे पिता के व्यवहार में भी है, जो हमेशा बेहद पेशेवर, गरिमा और शालीनता से पेश आते रहे हैं."
अपनी साड़ी और दादी की विरासत पर क्या बोलीं प्रनूतन?
अवॉर्ड सेरेमनी में उन्होंने जो साड़ी पहनी थी, उस पर उन सभी छह फिल्मों के टाइटल लिखे हुए थे जिनके लिए नूतन ने फिल्मफियर पुरस्कार जीता था. प्रनूतन कहती हैं, "मेरी साड़ी मेरी दादी को डेडिकेटेड है. हिंदी में इस पर उन सभी फिल्मों के नाम हैं जिनके लिए उन्होंने फिल्मफेयर पुरस्कार जीता था. हमारे पास बंदिनी, मिलन, सीमा, सुजाता, मैं तुलसी तेरे आंगन की और मेरी जंग जैसी फिल्में हैं. ये सब मेरी साड़ी पर मेरी दादी को समर्पित एक श्रद्धांजलि की तरह कढ़ाई की गई है."