Jungle Cry Movie Review: हिंदुस्तान में जज्बे, संघर्ष और जुनून की कई ऐसी कहानियां मौजूद हैं, जिन्हें अगर पर्दे पर उतारा न जाए तो लोगों को उनके बारे में कभी पता ही न चल पाए. जंगल क्राई एक सच्ची कहानी पर आधारित एक स्पोर्ट्स ड्रामा है, जिसमें टीम वर्क के बारे में वैल्युएबल लेसन और हमेशा खुद पर विश्वास करना शामिल है- तब भी जब कुछ सोच से परे हासिल करने की बात आती है. तो आपको बता दें कि फिल्म अंग्रेजी और हिंदी (अंग्रेजी सबटाइटल्स के साथ) दोनों में है. ‘जंगल क्राई' 3 जून को लॉइंसगेट प्ले पर रिलीज हो रही है.
'जंगल क्राई' की कहानी
फिल्म की शुरुआत कुछ लड़को से होती है, जिन्हें चुराए गए कंचों के जार के साथ भागते हुए किसी भी खेल के लिए जरुरी फुर्ती, समझदारी और थोड़ी चालाकी का प्रदर्शन करते हुए देखा जाता है. फिल्म में अभय देओल कलिंगा इंस्टिट्यूट के एथेलेटिक डायरेक्टर रुद्र के किरदार में हैं, जिसने ओडिशा के छोटे से गांवों का दौरा कर के कुछ लड़को की टीम फुटबॉल खेलने के लिए बनाई होती है. ऐसे में पॉल (स्टीवर्ट राइट) वो शख्स है, जो कलिंगा के फाउंडर डॉ सामंत (अतुल कुमार) से इसलिए मिलता है, क्योंकि उसे इन्ही लड़को में से कुल 12 के साथ एक रग्बी टीम बनानी होती है और वो भी सिर्फ और सिर्फ 4 महीनों के भीतर, ताकि वह इंग्लैंड में रग्बी वर्ल्ड कप में अपना दम दिखा सकें.
इन सभी 12 लड़कों का ग्रुप जिनमें से कई अनाथ तो ज्यादातर गरीब होते हैं, वह रग्बी खेलने की शुरुआत करते हैं. हालांकि, यह एक ऐसा खेल होता है, जिसके बारे उन्होंने पहली बार सुना होता है. हर तरह की परेशानियों के बावजूद वो साथ आते हैं सीखते हैं और टूर्नामेंट के लिए क्वालीफाई कर लेते हैं. लड़को को फुटबॉल छुड़ा के रग्बी खेलने के लिए ट्रेन करने के फैसले से नाराज रूद्र भी लड़को की मेहनत देख उनके साथ हो लेता है. एक समय ऐसा भी आता है, जब पॉल को डेंगू हो जाता है और लड़को के साथ इंग्लैंड रूद्र को जाना पड़ता है. वहां उनकी मुलाकात, फिल्म की फीमेल लीड रोशनी (एमिली शाह) से होती है, जो टीम की फिजियो है.
'जंगल क्राई' में एक्टिंग
अभय देओल बॉलीवुड के एक ऐसे अभिनेता हैं, जो अपने नेचुरल अभिनय के लिए जाने जाते हैं. वे पर्दे पर इतनी सहजता से अभिनय करते हैं कि आपको वह किरदार ही लगने लगते हैं. एमिली शाह की एक्टिंग फिल्म में लगभग इंटरवेल के बाद ही देखने को मिलती है. लेकिन स्क्रीन पर वे जब-जब आई हैं, अपनी प्रजेंस से दिल जीत लिया है. आपको फिल्म में अभय और एमिली के कई सींस में काफी सुकून और ठहराव देखने को मिलेगा. साथ ही उन 12 लड़कों की दमदार एक्टिंग भी आपको सोचने पर मजबूर कर देगी.
'जंगल क्राई' वर्डिक्ट
सागर बेल्लारी द्वारा डायरेक्ट की गयी इस फिल्म में अभय देओल और एमिली शाह ने बतौर लीड शानदार काम किया है, जबकि सपोर्टिंग रोल में अतुल कुमार, स्टीवर्ट राइट और अन्य हैं. सभी ने अपने किरदारों के साथ अपने-अपने स्तर पर न्याय किया है और इस रियल स्टोरी को रील में खूबसूरती से उतारा है. हालांकि फिल्म थोड़ी स्लो है, जिसकी स्पीड बढ़ाई जा सकती थी. फिल्म के कुछ सिचुएशन्स आपको ऐसे लगेंगे, जैसे कि आप पहले भी इस तरह की सिचुएशन को दूसरी फिल्मों में देख चुके हैं.
इसके साथ ही फिल्म में कुछ हद तक खिलाड़ियों के किरदार पर ज्यादा ध्यान दिया जा सकता था. पर ये बात भी सच है कि फिल्म की कहानी, किरदार, एक्टिंग से लेकर डायरेक्शन तक सब कमाल है. कुल मिलाकर जंगल क्राई को किसी भी फिल्म लवर द्वारा मिस नहीं किया जाना चाहिए. खासकर के उन लड़कों की जर्नी को देखने के लिए कि किस तरह से वे पिछड़े इलाको से निकलकर सामने आते हैं और मौका मिलने पर इंटरनेशनल लेवल पर पहुंच जाते हैं. ऐसे में यह जानने के लिए कि वर्ल्ड कप में वह कैसे और कहां तक पहुंचते हैं, आपको इस शानदार फिल्म को देखना पड़ेगा.
रेटिंग: 3/5 स्टार
डायरेक्टर: सागर बालारे
कलाकार: अभय देओल और एमिली शाह