नवाज़ुद्दीन सिद्दीकी ने भाई और एक्स वाइफ पर ठोका था 100 करोड़ का मुकदमा, अब हाईकोर्ट ने सुनाई बुरी खबर

बॉम्बे हाईकोर्ट ने एक्टर नवाज़ुद्दीन सिद्दीकी द्वारा दायर ₹100 करोड़ की मानहानि याचिका को खारिज कर दिया है.

विज्ञापन
Read Time: 2 mins
नवाज़ुद्दीन सिद्दीकी को हाईकोर्ट से मिली बुरी खबर
नई दिल्ली:

नवाज़ुद्दीन ने मानहानि याचिका अपने भाई शम्सुद्दीन सिद्दीकी और पूर्व पत्नी अंजना पांडे (आलिया) के खिलाफ पिछले साल दायर की थी. याचिका खारिज होने का मुख्य कारण यह था कि सुनवाई के दौरान नवाज़ुद्दीन और उनके वकील अदालत में मौजूद नहीं थे. अदालत ने ये मामला “नॉन-प्रॉसिक्यूशन” (गैर-उपस्थिति) के आधार पर खारिज कर दिया. दरअसल, नवाज़ुद्दीन सिद्दीकी और उनके वकील कई बार सुनवाई के दौरान अदालत में उपस्थित नहीं हुए. अदालत ने कहा कि जब याचिकाकर्ता खुद अपने मुकदमे को आगे नहीं बढ़ा रहा है और सुनवाई में पेश नहीं हो रहा है, तो ऐसे में कोर्ट के पास मामला खारिज करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचता. 

नवाज़ुद्दीन का आरोप था कि उन्होंने 2008 में अपने भाई शम्सुद्दीन को अपना मैनेजर नियुक्त किया था और भरोसा करते हुए उन्हें अपने क्रेडिट कार्ड, बैंक पासवर्ड आदि सौंप दिए थे. उनका दावा था कि शम्सुद्दीन ने उन्हें धोखा दिया और जालसाजी की. 

याचिका के अनुसार, नवाजुद्दीन ने 2008 में अपने भाई को मैनेजर नियुक्त किया था क्योंकि वह बेरोजगार थे. नवाजुद्दीन ने उन्हें क्रेडिट, डेबिट, एटीएम कार्ड, चेकबुक, बैंक पासवर्ड आदि दिए. हालांकि, शम्सुद्दीन ने कई संपत्तियां अपने नाम कर लीं. 

आरोप लगाया गया कि शम्सुद्दीन और अंजना ने मिलकर 20 करोड़ रुपये का गबन किया और नवाजुद्दीन द्वारा अपने बच्चों की शिक्षा के लिए दिए गए 10 लाख रुपये प्रति माह और एक प्रोडक्शन हाउस शुरू करने के लिए दिए गए 2.5 करोड़ रुपये का इस्तेमाल अपने खर्चों के लिए किया.

एक्टर ने दावा किया था कि इन सबसे उन्हें भारी मानसिक, सामाजिक और आर्थिक नुकसान हुआ. ऐसे में उन्होंने अदालत से 100 करोड़ रुपए के मुआवजे की मांग की थी. शम्सुद्दीन के वकील ने अदालत में कहा कि यह पूरा केस आधारहीन है और वित्तीय विवादों के चलते उनके मुवक्किल पर दबाव बनाने के लिए यह याचिका दायर की गई थी. 

Featured Video Of The Day
शुरुआती वर्षों में निवेश से लेकर बड़े Business तक, Vivek Oberoi ने बताई अपनी Success story |Top News