Story Created By: Vivek Rastogi

Income Tax और TDS में क्या है अंतर...? समझें आसान भाषा में

Image Credit: iStock

क्या आप जानते हैं, Income Tax और TDS (Tax Deducted at Source) में क्या अंतर होता है, क्योंकि बहुत-से लोग इसे लेकर कन्फ़्यूज़ रहते हैं.

Image Credit: iStock

बहुत-से टैक्सपेयरों को तो लगता है, अगर TDS कट चुका है, तो इनकम टैक्स देनदारी निपट चुकी है. लेकिन यह सच नहीं है.

Image Credit: iStock

दरअसल, इनकम टैक्स और TDS हमारे देश के टैक्सेशन सिस्टम के दो ज़रूरी फ़ैक्टर हैं, जो रेवेन्यू कलेक्शन और कम्प्लायन्स में अहम भूमिका निभाते हैं.

Image Credit: iStock

इनकम टैक्स पर्सनल फ़ाइनेंस का बहुत कॉमन टर्म है, और यह एक डायरेक्ट टैक्स (Direct Tax) है, जिसे सरकार किसी व्यक्ति की इनकम पर वसूलती है.

Image Credit: iStock

इनकम टैक्स आय के विभिन्न स्रोतों पर लगाया जाता है, जिनमें वेतन, व्यापारिक मुनाफ़ा, कैपिटल गेन और कमाई के अन्य ज़रिये शामिल होते हैं.

Image Credit: iStock

इनकम को कैलकुलेट कर टैक्स चुकाने की ज़िम्मेदारी टैक्सपेयर की ही होती है, जिसे सरकार द्वारा बनाए गए टैक्स स्लैब व नियमों का ध्यान रखना होता है.

Image Credit: iStock

इसके उलट, TDS के ज़रिये सरकार 'एडवान्स टैक्स' के तौर पर इनकम सोर्स से सीधे टैक्स कलेक्ट कर लेती है, जो टैक्सपेयर के नाम ही दर्ज होता है.

Image Credit: iStock

TDS विदहोल्डिंग टैक्स है, जिसमें किसी शख्स को मिलने वाले वेतन, ब्याज, किराये या कन्सल्टेंसी फ़ीस में से भुगतान से पहले ही तय राशि काट ली जाती है.

Image Credit: iStock

TDS कटौती के बाद रकम को तुरंत सरकार को भेजा जाता है. इससे टैक्स कलेक्शन प्रक्रिया सरल होती है, और टैक्स चोरी रोकने में भी मदद मिलती है.

Image Credit: iStock

अब इनकम टैक्स रिटर्न फ़ाइल करना उनके लिए अनिवार्य है, जिनकी सालाना आय पुरानी टैक्स व्यवस्था के तहत ₹2.5 लाख या नई टैक्स व्यवस्था के तहत ₹3 लाख से ज़्यादा है.

Image Credit: iStock

पुरानी टैक्स व्यवस्था के तहत 60 से 80 साल की उम्र वाले वरिष्ठ नागरिकों के लिए करमुक्त आय की सीमा ₹3 लाख है, जबकि 80 साल से ज़्यादा उम्र वालों के लिए सीमा ₹5 लाख है.

Image Credit: iStock

अब आपको आपकी इनकम पर लगने वाले टैक्स की गणना करनी है, और अंत में वह रकम घटा देनी है, जो TDS के तौर पर पहले ही आपसे वसूली जा चुकी है.

Image Credit: iStock

उदाहरण के लिए, यदि आपकी कुल आय पर टैक्स देनदारी ₹1,00,000 बनती है, लेकिन TDS के तौर पर ₹88,000 कट चुके हैं, तो अब आपको सिर्फ़ ₹12,000 चुकाना होगा.

Image Credit: iStock

TDS आपकी सैलरी, निवेश व किराये से हुई आय, कॉन्टेस्ट जीतने से मिली रकम, लॉटरी, गैंबलिंग, प्राइस मनी व कई अन्य तरीकों से हुई आय पर काटा जाता है.

Image Credit: iStock

सो, ITR फ़ाइल करते वक्त याद रखें, TDS आप चुका चुके हैं, लेकिन यह भी याद रखें, हो सकता है, अभी आपकी टैक्स देनदारी बकाया हो, या आपको रिफ़ंड क्लेम करना हो.

Image Credit: iStock

पैसा, निवेश, कमाई से जुड़ी अन्य ख़बरों के लिए क्लिक करें

Click Here