पाकिस्तान में इस साल मानसून के कारण लगभग 800 लोगों की जान गई और सात हजार से अधिक घरों को नुकसान हुआ है. मानसून की बारिश में बढ़ोतरी और जलवायु परिवर्तन ने पाकिस्तान में बाढ़ और आपदाओं को गंभीर बनाया है. पाकिस्तान का वन क्षेत्र केवल पांच प्रतिशत रह गया है, जिससे पहाड़ी इलाकों में बाढ़ का प्रभाव और बढ़ गया है.