आतंकियों के परिजनों के साथ संवाद का अभियान शोपियां से शुरू हुआ है शोपियां ही इस समय सबसे ज्यादा आतंकवाद प्रभावित है एक महीने में चार लड़के आतंक को छोड़कर घर लौट चुके हैं