राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग ने मेडिकल कॉलेजों में गैर-चिकित्सक शिक्षकों के कोटे को पंद्रह प्रतिशत से बढ़ाकर तीस प्रतिशत कर दिया है. यह बदलाव उन विभागों में लागू होगा जहां एमबीबीएस या एमडी योग्य शिक्षक उपलब्ध नहीं हैं, जैसे एनाटॉमी और फिजियोलॉजी. नए आदेश के तहत माइक्रोबायोलॉजी और फार्माकोलॉजी विभागों को भी शामिल किया गया है, जहां गैर-चिकित्सक शिक्षक नियुक्त किए जा सकेंगे.