कोर्ट ने कहा- सरकार से असहमति के चलते जेल में नहीं डाला जा सकता. देशद्रोह के कानून का ऐसा इस्तेमाल नहीं हो सकता. दिशा का कोई आपराधिक रिकॉर्ड नहीं है.