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सोशल मीडिया इंश्योरेंस : अब बिंदास लिखें मन की बात, दिक्कत होने पर कवर देगी बीमा कंपनी

बात जब इंश्योरेंस की आती है तो जेहन में लाइफ इंश्योरेंस, होम इंश्योरेंस, कार इंश्योरेंस का ख्याल आता है. आपने संभवत: यह कभी सोचा भी नहीं होगा कि ट्विटर, फेसबुक जैसी सोशल मीडिया जैसी वेबसाइट्स पर जो कुछ आप लिखते हैं, उसके लिए भी आप बीमा करवा सकते हैं.
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NDTV Profit हिंदी09:39 AM IST, 18 Oct 2016NDTV Profit हिंदी
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बात जब इंश्योरेंस की आती है तो जेहन में लाइफ इंश्योरेंस, होम इंश्योरेंस, कार इंश्योरेंस का ख्याल आता है. आपने संभवत: यह कभी सोचा भी नहीं होगा कि ट्विटर, फेसबुक जैसी सोशल मीडिया जैसी वेबसाइट्स पर जो कुछ आप लिखते हैं, उसके लिए भी आप बीमा करवा सकते हैं. किसी घटना, विषय या व्यक्ति के बारे में अपनी बात कहते समय अब आपको डरने की जरूरत नहीं है. यदि आपकी सोशल मीडिया पोस्ट या कमेंट को लेकर कोई आप पर मानहानि का केस करता है तो बीमा कंपनी आपको कवर देगी. इसे कहा जा रहा है साइबर इंश्योरेंस. दैनिक भास्कर में छपी खबर के मुताबिक, साइबर इंश्योरेंस या सोशल मीडिया इंश्योरेंस को लेकर बजाज आलियांज काम कर रही है और जल्द ही इसे लॉन्च कर देगी.

वैसे भारत में सोशल मीडिया यूजर्स का इंश्योरेंस फिलहाल तक तो नहीं होता है. बजाज आलियांज देश की पहली ऐसी इंश्योरेंस पॉलिसी लाने वाली कंपनी होगी. दैनिक भास्कर में छपी खबर के मुताबिक, कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर तपन सिंहल का कहना है, 'यदि किसी व्यक्ति को सोशल मीडिया पर किसी पोस्ट या कमेंट की वजह से मुकदमा झेलना पड़े और मुआवजा देने की नौबत आए तो साइबर इंश्योरेंस इस लागत को कवर करेगा.' उन्होंने कहा- हमारी कंपनी पर्सनल साइबर कवर डिजाइन कर रही है. यह कॉरपोरेट्स के लिए वर्तमान में मौजूद साइबर इंश्योरेंस कवर जैसा ही होगा. बीमा करवाने वाले व्यक्ति को दिए जाने वाले साइबर कवर में उसकी साख, डाटा में सेंध, किसी निजी या फिर फाइनेंशल या फिर संवेदनशील जानकारी चोरी हो जाने के मामले में भी कवर मिलेगा.
 
वैसे मौजूदा समय में पर्सनल साइबर इश्योरेंस पॉलिसी भी है जिसके तहत फिशिंग, आइडेंडिटी थेफ्ट, साइबर स्टाकिंग, शोषण और बैंक अकाउंट्स की हैकिंग को कवर किया जाता है. साइबर इश्योरेंस आईटी फर्मों, बैंकों, ई-कॉमर्स और फार्मा कंपनियों को बेचे जाते हैं. इसके तहत कॉरपोरेट्स को प्राइवेसी और डाटा ब्रीच, नेटवर्क सिक्यॉरिटी क्लेमस और मीडिया लाइबिलिटी का कवर मिलता है. इंडस्ट्री के अनुमान के मुताबिक, ऐसी करीब 500 पॉलिसीज ली गई हैं.

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