वर्ष 2016 में अब तक सोना और चांदी ने निवेशकों को अन्य कीमती धातुओं के मुकाबले बेहतर रिटर्न दिया है. अभी तक सोने और चांदी में क्रमश: 22.29 प्रतिशत और 40.69 प्रतिशत तक की तेजी देखने को मिल चुकी है. दूसरी ओर, 30 शेयरों पर आधारित बंबई शेयर बाजार के सूचकांक में मात्र 7.79 प्रतिशत तक की ही बढ़ोतरी आई है.ऐसे में सोने में अभी भी निवेश करने का बेहतर मौका है.
सेंसेक्स 09 अगस्त 2016 को एक वर्ष के उच्च स्तर 28,289.96 अंक के स्तर को छू गया था. हालांकि चार मार्च 2015 के अपने 30,024.74 अंक की सर्वकालिक उंचाई से सूचकांक अब भी 1,872.34 अंक अथवा 6.23 प्रतिशत कम है.
और बढ़ सकते हैं सोने के भाव
विशेषज्ञों का कहना है कि कमजोर बाजार में सोने ने अन्य संपत्ति वर्ग से बेहतर प्रदर्शन किया, क्योंकि निवेशक निवेश के सुरक्षित विकल्प की ओर रुख कर रहे हैं. ऐसे में सोने में अभी भी तेजी की धारणा बनी हुई है. वर्ष 2016 के आरंभ में बाजार धारणा कच्चे तेल की कीमतों में उतार-चढ़ाव और चीनी अर्थव्यवस्था के स्वास्थ्य की चिंता को लेकर प्रभावित रही. हालांकि, कंपनियों की बेहतर आय और मानसून की बरसात में तेजी के कारण मार्च के बाद से बाजार में तेजी लौटी.
बाजार विशेषज्ञों के अनुसार बाजार में कमजोरी के दौरान सुरक्षित निवेश के विकल्प के बतौर सोने ने अन्य सामग्रियों को पीछे छोड़ दिया. अगस्त 12 को सोना बढ़कर 31,050 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गया जो 31 दिसंबर 2015 को 25,390 रुपये पर था. वहीं, चांदी 33,300 रुपये से बढ़कर 46,850 रुपये प्रति किलो हो गई.
निवेशक काट रहे मुनाफा
ऐतिहासिक आंकड़े के अनुसार विगत 15 वर्षों में से 12 वर्षों में सोने ने सकारात्मक लाभ दिए हैं. केवल 2014 और 2015 में गोल्ड का रिटर्न निगेटिव रहा है. पिछले साल गोल्ड और स्टॉक मार्केट दोनों ही निवेशकों को पॉजिटिव रिटर्न देने में सफल नहीं हो पाए. वहीं 2014 में स्टॉक मार्केट ने लगातार तीसरे साल सोने के मुकाबले बेहतर रिटर्न दिए थे.